नासा के अंतरिक्षयान क्षुद्रग्रह बेन्नु पर से नमूने लेने वाले में समस्या...कंटेनर से अंतरिक्ष में गिर रहे नमूने
क्षुद्रग्रह बेन्नु पर लैंड होने के दो दिनों बाद अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के अंतरिक्ष यान
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | वाशिंगटन, क्षुद्रग्रह बेन्नु पर लैंड होने के दो दिनों बाद अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के अंतरिक्ष यान ओरिजिंस रेक्स यानी स्पेक्ट्रल इंटरप्रेटेशन रिसोर्स आइडेंटिफिकेशन सिक्योरिटी- रेगोलिथ एक्सप्लोरर (ओएसआइआरआइएस आरईएक्स) ने करीब 60 ग्राम सामग्री एकत्र कर ली है। अंतरिक्ष यान ने गुरुवार को तस्वीरें एजेंसी को भेजी हैं। विज्ञानियों ने बताया कि ओरिजिंस-रेक्स ने नमूने तो एकत्र कर लिए हैं पर उसके कंटेनर से ये नमूने छलक कर अंतरिक्ष में ही गिर रहे हैं।
सुलझा ली जाएगी समस्या
वैज्ञानिकों ने उम्मीद जताई है कि जल्द ही इस समस्या को सुलझा लिया जाएगा। बता दें कि 'ओरिजिंस-रेक्स' नासा के नए फ्रंटलाइन प्रोग्राम का तीसरा मिशन है। वाशिंगटन में नासा के साइंस मिशन निदेशालय के लिए हंट्सविले, अलबामा में अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी का मार्शल स्पेस फ्लाइट सेंटर इस कार्यक्रम का प्रबंधन कर रहा है। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी की मुख्य विज्ञानी डेंटे लॉरेटा ने अभियान के बारे में बताते हुए कहा कि 'ओरिजिंस-रेक्स' ने उम्मीद से अधिक नमूने एकत्रित कर लिए हैं और अब उन्हें सुरक्षित धरती पर लाना किसी मिशन से कम नहीं है।'
हम अपनी ही सफलता का बने शिकार
लॉरेटा ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, 'हम अपनी सफलता का ही शिकार बन गए हैं। यान नियंत्रक बाधाओं को दूर कर बेन्नु के और अधिक नमूनों को गिरने से रोकने के अलावा कुछ नहीं कर सकते।' बता दें कि बेन्नु क्षुद्रग्रह अभी धरती से 32 करोड़ 10 लाख किलोमीटर की दूरी पर है।
खुलेंगे सौरमंडल की उत्पत्ति के राज
नासा के विज्ञानियों को उम्मीद है कि अंतरिक्ष यान से लाए गए 'बेन्नु' के नमूनों की मदद से सौरमंडल की उत्पत्ति के राज खुल सकते हैं। माना जाता है कि क्षुद्र ग्रहों की उत्पत्ति भी सौरमंडल के साथ ही हुई थी। इसके नमूनों से यह पता चल सकेगा कि करोड़ों साल पहले सौरमंडल ने कैसे आकार लिया होगा और कौन-कौन से अवयव छोड़े होंगे जो धरती पर जीवन के विकास में मददगार बने होंगे।
2023 में धरती पर लौटेगा यान
ओरिजिंस-रेक्स अंतरिक्ष यान को चार साल पहले केप केनवरल से प्रक्षेपित किया गया था। दो साल पहले यह बेन्नु क्षुग्रह पर पहुंच गया था। इससे पहले जापान दो बार क्षुद्रग्रह के नमूने एकत्रित कर चुका है। यह अंतरिक्ष यान तीन साल बाद यानी सितंबर 2023 में धरती पर वापस लौटेगा।