जानिए हरियाली तीज की पूजन सामग्री और पूजा विधि

हिंदू कैलेंडर के अनुसार, श्रवण शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को हरियाली तीज (Hariyali Teej) का पर्व मनाया जाता है.

Update: 2022-07-29 04:46 GMT

जनता से रिश्ता वेबडेस्क।    हिंदू कैलेंडर के अनुसार, श्रवण शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को हरियाली तीज (Hariyali Teej) का पर्व मनाया जाता है. हरियाली तीज देश में मनाए जाने वाले तीन महत्वपूर्ण तीज त्योहारों में से एक है. हरियाली तीज पर भगवान शिव और देवी पार्वती की विशेष पूजा-अर्चना की जाती है. इस दिन सुहागन महिलाएं पति की लंबी आयु के लिए निर्जला व्रत रखती हैं, वहीं कुंवारी युवतियां अच्छे वर की कामना के साथ निर्जला व्रत रखती हैं. हरियाली तीज को श्रावणी तीज भी कहा जाता है. कहा जाता है हरियाली तीज की विधिवित पूजा करने से शिवजी और मां पार्वती का आशीर्वाद प्राप्त होता है. इस साल हरियाली तीज का पर्व 31 जुलाई 2022 को मनाया जाएगा. आइये जानते हैं पंडित इंद्रमणि घनस्याल से हरियाली तीज की पूजन सामग्री और पूजा विधि के बारे में विस्तार से.

हरियाली तीज की पूजा सामग्री
हरियाली तीज पर शिव-पार्वती की पूजा विधि-विधान से की जानी चाहिए. पूजा में शिव-पार्वती की मूर्ति को शामिल करते हैं और चौकी रखते हैं.
पूजा में पीला वस्त्र, कच्चा सूता, नए वस्त्र, केले के पत्ते, बेलपत्र, भांग, धतूरा, शमी के पत्ते, जनेऊ, जटा नारियल, सुपारी, कलश, अक्षत, दूर्वा घास, घी, कपूर, अबीर-गुलाल, श्रीफल, चंदन, गाय का दूध, गंगाजल, पंचामृत दही, मिश्री, शहद आदि को शामिल किया जाता है.
मां पार्वती के लिए हरे रंग की साड़ी, चुनरी और सोलह श्रृंगार से जुड़े सुहाग के सामान में सिंदूर, बिंदी, चूडियां, महौर, खोल, कुमकुम, कंघी, बिछिआ, मेहंदी, दर्पण और इत्र इत्यादि सामग्री रखी जाती है.
हरियाली तीज पूजा विधि
ब्रह्म मुहूर्त के दौरान (सूर्योदय से लगभग दो घंटे पहले) जल्दी उठें.
सुबह जल्दी उठने के बाद स्नान करें और पूजा के लिए हरे रंग के कपड़े पहनें.
पूजा कक्ष-चौकी को गंगाजल से साफ करें.
चौकी को सफेद या लाल कपड़े से ढक दें.
मिट्टी से भगवान शिव, देवी पार्वती और भगवान गणेश की मूर्तियां बनाएं. आप फोटो का भी उपयोग कर सकते हैं.
चौकी पर भगवान शिव और पार्वती की मूर्ति रखें.
एक तेल (तिल या सरसों) या घी का दीपक जलाकर देवताओं के दाहिनी ओर रखें.
भगवान गणेश का आह्वान करें और उनका आशीर्वाद लें.
इसके बाद मूर्ति के सामने कुछ अक्षत् रखें और फिर चारों ओर मौली के साथ एक कलश रखें.
कलश में सुपारी, हल्दी, कुमकुम और पानी डालें.
फिर पान के पत्ते या आम के पेड़ के पत्तों का प्रयोग करें और कलश में डाल दें
फिर पंचपात्र में से थोड़ा सा पानी हाथ में लें. फिर भगवान शिव और पार्वती के चरणों में जल चढ़ाकर पूजा शुरू करें.
चंदन लगाएं, फिर भगवान शिव को धतूरा और सफेद मुकुट के फूल और बेलपत्र और देवी पार्वती को गुलाब का फूल चढ़ाएं. आप देवी को सुहाग सामग्री चढ़ा सकते हैं.
फिर नैवेद्य या भोग अर्पित करें.
अगरबत्ती और धूप चढ़ाएं.
हरियाली तीज व्रत कथा का पाठ करें.
आरती गाकर पूजा का समापन करें.
Tags:    

Similar News

-->