
सनातन धर्म में हर दिन और महीने को महत्वपूर्ण बताया गया हैं लेकिन चतुर्मास का अपना अलग महत्व होता हैं चातुर्मास का दूसरा महीना भाद्रपद माना गया हैं इसे लोक भाषा में भादों के नाम से भी जाना जाता हैं जो कि सावन के समापन के बाद आरंभ हो चुका हैं इस महीने कई सारे पर्व त्योहार मनाए जाते हसैं। यही कारण है कि इस महीने को खास बताया गया हैं।
भाद्रपद माह श्रीकृष्ण की पूजा को समर्पित होता हैं इस दौरान बाल गोपाल की पूजा अर्चना करने से साधक के जीवन के सभी दुख दूर हो जाते हैं और कामना पूरी होती हैं। लेकिन शास्त्रों में इस महीने को लेकर कई ऐस नियम बताए गए हैं जिनका पालन करना जरूरी माना गया हैं तो आज हम आपको बता रहे हैं कि भादों में किन कामों को करने से बचना चाहिए।
भाद्रपद माह में कभी न करें ये काम—
सनातन धर्म में भाद्रपद माह को ईश्वर भक्ति के लिए उत्तम बताया गया हैं। इस माह को पुण्यदायी बताया गया हैं लेकिन कुछ ऐसे काम भी जो कि इस महीने करने से आपको पाप का भागीदार बना सकते हैं। भाद्रपद माह में ईश्वर साधना, पूजा पाठ, तप जप और व्रत करना अच्छा माना गया हैं लेकिन इसी के साथ ही महीने में ब्रह्मचर्य का पालन करना जरूरी होता हैं इस महीने में तामसिक भोजन का सेवन भूलकर भी न करें। इसके अलावा इस पूरे महीने में पलंग पर नहीं सोना चाहिए।
इस महीने अपशब्दों का प्रयोग करने से बचने साथ ही झूठ भी नहीं बोलना चाहिए। वरना व्यक्ति को संकट उठाना पड़ सकता हैं। भाद्रपद माह में शादी विवाह, सगाई, गृह निर्माण के कार्यों की शुरुआत भी नहीं करनी चाहिए। इस महीने गुड़, दही और इससे बनने वाली चीजों का सेवन भी नहीं करना चाहिए।