मजदूरों के लिए बनाए नए labor code को निरस्त करो

Update: 2024-07-19 11:22 GMT
Hamirpur. हमीरपुर। सीटू जिला कमेटी हमीरपुर ने सीटू के अखिल भारतीय आह्वान पर हमीरपुर शहर में गुरुवार को विशाल प्रदर्शन किया। मजदूरों ने तहसील कार्यालय से गांधी चौक तक रोष रैली निकली और गांधी चौक में सभा को संबोधित भी किया। इसक उपरांत अतिरिक्त उपायुक्त के माध्यम से प्रधानमंत्री को अपनी मांगों को लेकर ज्ञापन भेजा गया। गौरतलब रहे कि नई मोदी सरकार ने जो 100 दिन का एजेंडा तय किया है। उसमें चार नए श्रम कोड लागू करने जा रही है, जो मजदूरों के लिए गुलामी का फंदा है। इन चार नए लेबर कोड को लागू करने से देश के 74 फीसदी मजदूर सामाजिक सुरक्षा व 70 फीसदी उद्योग कानून के दायरे से ही बाहर हो जाएंगें। केंद्र सरकार ने फिक्स्ड टर्म रोजगार की अधिसूचना पहले ही जारी कर दी है। इससे मजदूर नियमित रोजगार से वंचित हो जाएंगे। मजदूरों को काम के लिए समय सीमा 8 घंटे से बढक़र 12 घंटे करने की
अधिसूचना जारी हो चुकी है।

मोदी सरकार की इन मजदूर विरोधी, राष्ट्र विरोधी, जनता विरोधी फैसले के खिलाफ गुरुवार को पूरे प्रदेश भर में सीटू ने प्रदर्शन किया। सीटू की मांग है कि मजदूरों के लिए बनाए गए नए लेबर कोड को निरस्त करना, नेशनल मोनेटाइजेशन पाइपलाइन को खत्म करना, सार्वजनिक उपक्रमों को सेवाओं के निजीकरण को बंद करना, सभी श्रमिकों के लिए न्यूनतम वेतन 26000 पर प्रति माह लागू करना, असंगठित श्रमिकों के लिए सार्वभौमिक व्यापक सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करना, मनरेगा बजट में बढ़ोतरी करना, मनरेगा व निर्माण मजदूरों का श्रमिक कल्याण बोर्ड में पंजीकरण व नवीनीकरण शुरू करना, रुके हुए आर्थिक लाभ जारी करना, आंगनबाड़ी वर्कर्स, आशा वर्कर्स, मिड डे मील योजना कर्मियों को श्रमिकों के रूप में मान्यता देना और न्यूनतम मजदूरी पेंशन सहित सामाजिक सुरक्षा प्रदान करना, हिमाचल प्रदेश में आंगनबाड़ी केंद्रों को ही प्री-प्राइमरी स्कूलों का दर्जा देना, बिजली का निजीकरण बंद करना, स्मार्ट मीटर योजना वापस लेना, मोटर व्हीकल एक्ट में ट्रांसपोर्ट आदि मुद्दे रहे।
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