Pratapgarh अजवाइन की खेती का रकबा घटा

Update: 2025-01-19 12:10 GMT
Pratapgarh. प्रतापगढ़। प्रतापगढ़ जिले की कृषि उपज मंडी में इस बार अजवाइन की आवक में बड़ी गिरावट देखने को मिल रही है। पिछले 3-4 साल में मौसम की मार के कारण फसल में नुकसान को देखते इस बार किसानों का रुझान अजवाइन की बुवाई में नहीं दिखने से उत्पादन घट गया, जबकि बाजार भाव में उछाल है। ज्यादातर अजवाइन दिसंबर और जनवरी महीने में कृषि उपज मंडी में बड़ी मात्रा में किसान लेकर आते हैं, लेकिन इस साल अजवाइन के उत्पादन में भारी गिरावट देखने को मिल रही है। जिले के अजवाइन की मांग देश के कई राज्यों के साथ खाड़ी देशों में बड़ी मात्रा में रहती है, पिछले तीन सालों से अजवाइन के भाव 12000 से लगाकर 17000 रुपए प्रति क्विंटल के बीच में बिक रहा है। अजवाइन का दाना साफ स्वच्छ होने पर किसान को इसके अच्छे दाम मिलते हैं। वर्ष 2019 में कृषि उपज मंडी में 5883 क्विंटल, वर्ष 2020 में 8987 क्विंटल, 2021 में 11561 क्विंटल, 2022 में 10485 क्विंटल, 2023 में 4587 क्विंटल, 2024 में यह आंकड़ा 333 क्विंटल पर सिमट कर
रह गया है।


कृषि उपज मंडी में अजवाइन की आवक। अजवाइन की फसल में गत कुछ वर्षों से मौसम की मार पड़ने लगी है। इसका कारण यह है कि जिस समय अजवाइन की फसल पककर तैयार होती है।इसी दौरान मावठ और शीतलहर का दौर चलता है, इससे फसल खराब हो जाती है। ऐसे में अजवाइन उत्पादक किसानों को नुकसान होने लगा है, ऐसे में अब अजवाइन का रकबा कम होता जा रहा है। अजवाइन की फसल एक वर्ष में एक ही बार हो सकती है। इसकी बुवाई अगस्त, सितंबर में होती है, जबकि पकने की अवस्था नवंबर, दिसंबर माह होती है। ऐसे में किसानों को एक ही फसल ले सकते है, इससे भी अब किसानों का रुझान कम हो रहा है। जिले में अजवाइन का उत्पादन कम होता जा रहा है। वहीं भाव बढ़ते जा रहे है। इस वर्ष यहां मंडी में अजवाइन के भाव 12 हजार से 17 हजार रुपए प्रति क्विंटल तक हो गए है। प्रतापगढ़ जिले में अजवाइन की फसल गुणवत्ता में श्रेष्ठ होती है, इससे यहां के अजवाइन की मांग देशभर में अधिक रहती है, लेकिन उत्पादन कम होने से अब पूर्ति नहीं हो पा रही है।
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