'रहस्यमयी बुखार' बच्चों को बना रहा अपना शिकार, अस्पतालों में फुल हो रहे बेड
उत्तर प्रदेश में ऐसी रहस्यमय बीमारी चल रही है, जिसके शिकार मासूम हो रहे हैं. साथ ही कोरोना किस तरह अब बच्चों को संक्रमित करने लगा है
उत्तर प्रदेश में ऐसी रहस्यमय बीमारी चल रही है, जिसके शिकार मासूम हो रहे हैं. साथ ही कोरोना किस तरह अब बच्चों को संक्रमित करने लगा है ये बताएंगे. फिक्र उन बच्चों की, जिनपर एक रहस्यमयी बुखार कहर बनकर टूट रहा है. उत्तर प्रदेश में एक दो नहीं, बल्कि 6 जिलों में रहस्यमयी बुखार से बच्चे ना सिर्फ बीमार पड़ रहे हैं, बल्कि दम भी तोड़ रहे हैं. इससे उत्तर प्रदेश में अब तक 46 बच्चों की मौत हो चुकी है.
रहस्यमयी बुखार के कारण सबसे ज्यादा फिरोजाबाद में 36 बच्चों की जान गई है. इसी कड़ी में आज यानी सोमवार को सूबे के सीएम योगी आदित्यनाथ फिरोजाबाद पहुंचे और अस्पताल में भर्ती बच्चों का हाल-चाल जाना. ये वायरल फीवर किस वायरस की वजह से हो रहा है, इसका पता लगाने के लिए सैंपल्स को KGMU और पुणे NIV भेजा जाएगा. ताकि बच्चों का इलाज करने में मदद मिले और उनकी जान बचाई जा सके.
मरने वालों में अधिकांश बच्चे शामिल
सामान्य वायरल 5 दिनों में सही हो जाता है लेकिन यह 10-12 दिन के बाद कम होना शुरू हो रहा है. इसलिए रिकवरी का समय ज्यादा लगने के कारण अस्पतालों में ज्यादा दिन भर्ती रखना पड़ रहा है और इसीलिए अस्पतालों में बेड फुल होने लगे हैं. इस वायरल बीमारी में लोगों की डीहाइड्रेशन से भी मौत हो रही है. डॉक्टरों की मानें तो तेज बुखार के कारण ही डीहाइड्रेशन हो रहा है. मरने वालों में अधिकांश बच्चे हैं. उनके शरीर में पानी की कमी हो रही है. इसके अलावा प्लेटलेट्स भी कम हो रहे हैं. इलाज के दौरान प्लेटलेट्स नहीं बढ़ पा रहे और मरीज दम तोड़ रहे हैं.
बच्चों को स्कूल भेजने से डर रहे अभिभावक
कोरोना काल में बच्चों पर डबल खतरा मंडरा रहा है. कोरोना के डर के बीच रहस्यमयी बुखार ने लोगों की फिक्र बढ़ा दी है. बच्चों के माता-पिता के डर को स्कूलों ने और बढ़ा दिया है. कई राज्यों में बड़ी कक्षाओं के स्कूल खुल चुके हैं और अब तो छोटी कक्षाओं के स्कूल भी खुलने वाले हैं. मां-बाप इस दुविधा में हैं कि बच्चों को स्कूल भेजे या नहीं. पिछले दिनों जिस तरह देश के बाकी हिस्सों में स्कूल खुलने के बाद बच्चों के जो संक्रमित होने के मामले आए, उसके बाद अब ज्यादातर पैरेंट्स बच्चों को स्कूल भेजने में हिचक रहे हैं और उनकी इस हिचक को, डर को अमेरिका में बच्चों पर कोरोना के अटैक की खबरों ने और बढ़ा दिया है.
अमेरिका में लाखों बच्चे कोरोना संक्रमित
अमेरिका में बीते एक हफ्ते में 1 लाख 80 हजार बच्चे कोरोना से संक्रमित पाए गए हैं. इनमें से ज्यादातर बच्चों की हालत बहुत गंभीर बताई जा रही है, उन्हें ऑक्सीजन दी जा रही है और कई बच्चे तो वेंटिलेटर पर हैं. अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स एंड द चिल्ड्रेन हॉस्पिटल एसोसिएशन के मुताबिक अमेरिका में हर एक लाख बच्चों में 6100 बच्चे संक्रमित हो रहे हैं. ये हालात तब हैं, जब अमेरिका में अभी कई जगहों पर स्कूल नहीं खुले हैं. इसलिए वहां भी स्कूलों को खोलने को लेकर सवाल उठाया जा रहा है.
देश के कई राज्यों में खुले स्कूल
देश के कई राज्यों में स्कूल खुल चुके हैं और बाकी राज्यों में भी धीरे-धीरे खुल रहे हैं लेकिन, सवाल ये है कि बच्चों को वैक्सीनेशन से पहले स्कूल भेजना जल्दबाजी तो नहीं है? सितंबर और अक्टूबर में बच्चों के लिए कोवैक्सीन को मंजूरी मिल सकती है. 12 साल से ऊपर के लोगों के लिए बनी जायकोव-डी की सप्लाई भी शुरू हो जाएगी. इसलिए सवाल उठ रहा है कि जब इतना बर्दाश्त किया, तो क्या कुछ महीने और नहीं रुका जा सकता है.