बुजुर्ग महिला की हत्या में पोता शामिल, अर्धनग्न शव छोड़कर हुआ था फरार, अब गिरफ्तार
रुड़की के तांशीपुर गांव निवासी बुजुर्ग महिला की हत्या में पोता शामिल था। बताया गया है कि शराब के पैसे नहीं देने पर नाराज पोते ने दादी की गर्दन पर गंडासे से हमला कर हत्या की थी। पुलिस ने आरोपी की निशानदेही पर हत्या में प्रयुक्त गंडासा बरामद किया है। आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया गया है।
24 अगस्त को तांशीपुर गांव में लीलावती उर्फ बुद्बो (80) की गला रेतकर हत्या कर दी गई थी। बुजुर्ग महिला की पुत्री कमलेश ने पुलिस को तहरीर देकर हत्या का केस दर्ज कराया था। पुलिस ने हत्याकांड के खुलासे के लिए चार टीमों का गठन किया था। कोतवाली प्रभारी राजीव रौथाण के नेतृत्व में गठित टीमों की ओर से आसपास के सीसीटीवी खंगालने के अलावा मुखबिर तंत्र को अलर्ट किया था।
पुलिस टीम ने शनिवार की देर रात नारसन तिराहे के पास से पोते को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी ने पुलिस पूछताछ में बताया कि दादी लीलावती की हत्या शराब के लिए पैसे नहीं देने पर की गई थी। आरोपी ने बताया कि पिता सिंचाई विभाग में नौकरी करते हैं, जबकि बुआ की शादी बिझौली गांव में हुई थी।
करीब साल वर्ष पूर्व फूफा का देहांत हो गया था, जिसके बाद बुआ के हिस्से में आई जमीन हाईवे पर होने के कारण करोड़ों रुपये की हो गई थी। बुआ की जमीन को अच्छे रेट में बिकवा दिया था। इसके बाद वह तांशीपुर में ही अपनी कृषि की भूमि लेकर और मकान बनाकर रहने लगी थी।
बुआ की दो पुत्रियां हैं, जिसमें से एक की शादी हो चुकी है, जबकि दूसरी मंगलौर स्थित एक स्कूल में पढ़ाई कर रही है। उसके दादा भी सिंचाई विभाग में नौकरी करते थे, जिससे उसकी दादी लीलावती को 12 हजार रुपये पेंशन मिल रही थी। वह अपनी दादी से आठ-दस हजार रुपये महीना ले लेता था, लेकिन शराब की लत के कारण बुआ ने दादी को पैसे देने से इनकार कर दिया था।
इसी बात को लेकर बुआ दादी और पोते में अक्सर विवाद होता रहा था। आरोपी ने बताया कि बुआ को कहा था कि जब उसकी पुत्री की शादी हो जाएगी तो वह उनके साथ ही रहेगा, लेकिन बुआ और दादी इसके लिए राजी नहीं हुए थे। और उसे पैसे की सख्त जरूरत थी, लेकिन बुआ के कहने पर दादी इनकार करने लगी थी।
इसी बात को लेकर बुआ दादी और पोते में अक्सर विवाद होता रहा था। आरोपी ने बताया कि बुआ को कहा था कि जब उसकी पुत्री की शादी हो जाएगी तो वह उनके साथ ही रहेगा, लेकिन बुआ और दादी इसके लिए राजी नहीं हुए थे। और उसे पैसे की सख्त जरूरत थी, लेकिन बुआ के कहने पर दादी इनकार करने लगी थी।
जिसके बाद दादी को ठिकाने लगाने की योजना बना ली थी। घर में निर्माण कार्य होने पर पूरा ताना बाना बुन लिया था। मिस्त्री और मजदूर घर में रहते थे। जिस वजह से योजना में कामयाब नहीं हो पा रहा था। बुधवार की दोपहर को मिस्त्री व मजदूर लंच में अपने घर चले गए थे।
वहीं बुआ भी अपनी पुत्री को मंगलौर स्कूल से लेने के लिए चली गई थी। इस बीच दादी घर में अकेली थी। बताया कि दादी से शराब के लिए पैसों की मांग की, लेकिन वह नहीं मानी। जिसके बाद दादी की गर्दन पर गंडासे से हमला कर मौत के घाट उतार दिया। इसी दौरान बुआ कमलेश भी आकर दरवाजा खटखटाने लगी। तभी छत के रास्ते से वह फरार हो गया था।
हत्या में प्रयुक्त गंडासे को गन्ने के खेत में दबा दिया। पुलिस ने रिंकी पुत्र राजवीर निवासी गांव तांशीपुर मंगलौर को दादी की हत्या के आरोप में गिरफ्तार कर लिया। पुलिस टीम में कोतवाली प्रभारी राजीव रौथाण, वरिष्ठ उप निरीक्षक दीप कुमार, उप निरीक्षक मनोज कुमार, पुष्पेंद्र सिंह, कांस्टेबल रविंद्र राणा, उत्तम सिंह, मनीष कुमार, अरविंद सिंह, विनोद डोभाल, सोहन मेहरा आदि शामिल रहे।
पुलिस को गुमराह करने के लिए किया था दादी को अर्धनग्न
मंगलौर। पुलिस पूछताछ में पोते रिंकी ने बताया कि दादी की गंडासे से गर्दन काटने के बाद पुलिस को गुमराह करने के लिए दादी को अर्धनग्न किया था, ताकि पुलिस हत्या को बलात्कार से जोड़कर देखती रहे और उस पर कोई शक न करे। आरोपी ने बताया कि उसने दादी के कपड़े उतार कर अलग फेंक दिए थे, ताकि पुलिस को लगे की बुजुर्ग महिला के साथ दुष्कर्म की घटना हुई है।
विरोध करने पर हत्या की गई होगी। पुलिस ने बताया कि आरोपी नशे की लत के कारण कई महीनों तक नशा मुक्ति केंद्र में भी रहा, लेकिन अपनी शराब की लत नहीं छोड़ पाया। शराब की लत पूरा करने लिए ही आरोपी ने अपनी दादी की गर्दन पर गडासी से हमला कर हत्या की है। हत्या के बाद आरोपी तीन दिनों तक पुलिस को गुमराह करता रहा।
एसएसआई और दरोगा ने निभाई अहम भूमिका
तांशीपुर गांव में बुजुर्ग महिला की हत्या के बाद पुलिस ने पुत्री की तहरीर पर अज्ञात में केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी थी। वरिष्ठ उप निरीक्षक दीप कुमार और उप निरीक्षक मनोज कुमार की टीम ने हत्याकांड के खुलासे के लिए हर संभव प्रयास किया। इस दौरान उनकी टीम की ओर से यूपी समेत प्रदेश के कई जगहों पर दबिश देकर दर्जनों संदिग्धों से पूछताछ की गई। हत्याकांड का खुलासा करने के बाद आला अधिकारियों ने उनकी पीठ थपथपाई है।