एम.के. अशोक
बेंगलुरू (आईएएनएस)| कर्नाटक भाजपा खेमा राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले आरक्षण कार्ड खेलकर अपनी संभावनाओं को मजबूत करने की उम्मीद कर रहा है। विश्लेषकों का कहना है कि लिंगायत और वोक्कालिगा समुदायों का कोटा बढ़ाकर सद्भावना पैदा करने की भगवा पार्टी की कोशिश सफल रही है।
पंचमसाली उप-संप्रदाय, जिसने आंदोलन का रास्ता चुना था और भाजपा के लिए लिंगायत वोट बैंक में सेंध लगाने की धमकी दी थी, लगता है कि आरक्षण की घोषणा के साथ ही शांत हो गया है।
पंचमसाली के पुजारी वचनानंद स्वामी ने कहा कि समुदाय द्वारा आरक्षण के लिए आंदोलन पहले चरण में सफल रहा है। हालांकि, पंचमसाली उप-संप्रदाय के अंतिम व्यक्ति को आरक्षण दिलाने के लिए मठ फिर से आंदोलन करने को तैयार है।
केंद्र सरकार की ओबीसी सूची में पंचमसालियों को शामिल करने का प्रस्ताव मुख्य सचिव के पास है। केंद्र ने राज्य सरकार से राय मांगी है। वचनानंद स्वामी ने कहा, आंदोलन उस मोर्चे पर भी जारी रहेगा।
पंचमसालियों के लिए आरक्षण के लिए आंदोलन का नेतृत्व करने वाले बसवजय मृत्युंजय स्वामी ने कहा कि वे लिंगायतों के लिए कोटा बढ़ाकर सात प्रतिशत करने पर चर्चा करेंगे और बाद में अपनी प्रतिक्रिया देंगे।
चुनाव से पहले सत्तारूढ़ बीजेपी को कई झटके लगे हैं। लिंगायत समुदाय में पंचमसाली वोटों को बनाए रखना एक बड़ी चिंता है। धर्माध्यक्षों ने स्पष्ट रूप से कहा है कि वे उन राजनीतिक दलों का समर्थन करेंगे, जो उन्हें आरक्षण दिलाने में मदद करेंगे। पूर्व मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा और वर्तमान सीएम बोम्मई अपने वादों को पूरा करने में विफल रहे और समुदाय को भगवा पार्टी से नाराज माना गया।
दूसरी ओर, भाजपा को एक और चुनौती का सामना करना पड़ा, क्योंकि कई नेताओं ने कांग्रेस में शामिल होने के लिए पार्टी छोड़ दी। वोक्कालिंगाओं को लुभाने की कोशिश के साथ उरी गौड़ा और नन्जे गौड़ा द्वारा तत्कालीन मैसूरु शासक टीपू सुल्तान की हत्या की बात कही गई।
वोक्कालिंगा और लिंगायत के लिए आरक्षण कोटा क्रमश: 4 प्रतिशत से बढ़ाकर 6 प्रतिशत और 5 प्रतिशत से 7 प्रतिशत कर दिया गया है। वोक्कालिगा को 2सी के तहत 6 फीसदी आरक्षण मिलेगा और लिंगायतों को 2डी कैटेगरी के तहत 7 फीसदी आरक्षण मिलेगा।
ओबीसी कोटा के तहत मुसलमानों के लिए आरक्षित 4 फीसदी कोटा 2डी और 2सी कैटेगरी को आवंटित किया गया है।
जिस वोक्कालिगा समुदाय को 3ए कैटेगरी के तहत 4 फीसदी आरक्षण दिया गया था, उसे 2सी कैटेगरी के तहत 2 फीसदी ज्यादा आरक्षण दिया गया है। लिंगायतों को पहले 3बी श्रेणी के तहत 5 फीसदी आरक्षण दिया जाता था, अब उन्हें नए 2डी कोटा के तहत 7 फीसदी आरक्षण मिलेगा।
सत्तारूढ़ भाजपा ने संविधान की अनुसूची 9 में अनुसूचित जातियों के लिए आरक्षण कोटा 18 से बढ़ाकर 24 प्रतिशत करने की सिफारिश की थी। भगवा पार्टी ने 101 उपजातियों को जनसंख्या के हिसाब से अनुसूचित जाति वर्ग के तहत आरक्षण देने का बड़ा फैसला लिया है। भाजपा ने तीन दशक पुरानी मांग को पूरा किया है।
कांग्रेस के कर्नाटक प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि भाजपा चुनाव से पहले राज्य में आरक्षित समुदायों को धोखा देने की रणनीति अपना रही है।
राज्य में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित 36 और अनुसूचित जनजाति के लिए 15 सीटों में से अधिकांश पर भाजपा की नजर है। राज्य से मल्लिकार्जुन खड़गे के अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष चुने जाने से दलित और शोषित वर्ग कांग्रेस की ओर आकर्षित हो रहे हैं। हालांकि, बीजेपी इस मुद्दे पर संभल कर चल रही है।