Lucknow: हिरासत में युवक की मौत पर जमकर हुआ बवाल

"चौकी छोड़कर भागे दरोगा-सिपाही"

Update: 2025-01-31 04:53 GMT

लखनऊ: संपत्ति के बंटवारे के एक केस में पूछताछ के लिए हिरासत में लिए युवक की रायसत्ती पुलिस चौकी में मौत हो गई. इस पर गुस्साए परिजनों और स्थानीय लोगों ने चौकी में जमकर हंगामा किया. उनकी पुलिस से तीखी नोकझोंक हुई. खुद को घिरता देख चौकी प्रभारी और सिपाही मौके से भाग गए. परिजनों ने पुलिस पर मजदूर के टार्चर और दवाई नहीं खाने देने जैसे गंभीर आरोप लगाए. हालात बिगड़ते देख एएसपी श्रीश्चंद्र अन्य अफसरों के साथ मौके पर पहुंचे. बाद में परिजनों को किसी तरह समझा-बुझाकर मनाया और शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा.

संपत्ति बंटवारे का चल रहा था विवाद: थानाक्षेत्र में शहर के मोहल्ला हातिम सराय निवासी शफीक बेगम के घर में संपत्ति बंटवारे को लेकर विवाद चल रहा है. इस मामले में एक रिश्तेदार खग्गू सराय परियों वाला मंदिर निवासी इरफान ने समझौता कराया था. इस मामले में दोनों पक्षों ने इरफान को गवाह बनाया था. समझौते के बाद भी मामला नहीं सुलटा तो शफीक बेगम ने रायसत्ती पुलिस चौकी में इस संबंध में शिकायत दर्ज करा दी. इस पर पुलिस इरफान को पूछताछ के लिए घर से उठाकर चौकी पर ले गई. इसी दौरान इरफान को सीने में दर्द उठा और वह जमीन पर गिर गया. इसी बीच चौकी पर परिजनों और लोगों की भीड़ जुटनी शुरू हो गई. पुलिसकर्मियों ने तुरंत डॉक्टर को बुलाकर चौकी में ही इरफान को दिखाया. डॉक्टर ने उसको मृत घोषित कर दिया. इस पर आक्रोशित भीड़ की पुलिसवालों से जमकर नोकझोंक हुई. खुद को घिरता देख चौकी प्रभारी व पुलिसकर्मी मौके से भाग खड़े हुए. लोगों ने चौकी पर हंगामा शुरू कर दिया. मामले की सूचना पर असमोली थाना प्रभारी योगेश कुमार, एएसपी श्रीश्चंद्र भी मौके पर पहुंच गए.

पुलिस ने शव को चौकी से उठाने का प्रयास किया लेकिन परिवार के लोगों ने शव उठने नहीं दिया. उनकी पुलिस से जमकर नोंकझोंक हुई. बाद में पुलिस ने लोगों को समझाकर शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया.

पुलिस ने इरफान को दवा खाने दी: एसपी

एसपी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने कहा कि शफीक बेगम ने चौकी पर शिकायती पत्र दिया कि उसका बेटा अरकान उसके साथ मारपीट करता है. घर में से उसका जो हिस्सा है, उसके छह लाख रुपये इरफान के माध्यम से दे दिए हैं, लेकिन वह न तो घर छोड़ रहा है और न ही रुपये लौटा रहा है. जांच करने के लिए लैपर्ड पहुंची और इरफान को लेकर चौकी पर आई. चौकी आकर इरफान ने बताया कि उसे दवा खानी है, पुलिस ने उसे दवा खाने दी. अचानक उसे सीने में दर्द हुआ, तो उसके बेटे द्वारा चौकी से अस्पताल ले जाया गया. जहां चिकित्सक ने मृत घोषित किया, तो शव को चौकी पर लाया गया, पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम को भेज दिया है. प्रथम दृष्टया ह्दय गति रुकने से मौत हुई है. दवा नहीं खाने देने का आरोप निराधार है.

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