Udaipur उदयपुर : महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में उस समय हड़कंप मच गया, जब एक प्रोफेसर ने अपने ही दफ्तर में फांसी का फंदा लगाकर जीवन लीला समाप्त कर ली। प्रोफेसर काफी देर से अपने चैंबर से बाहर नहीं आए तो स्टाफ ने जाकर उन्हें देखा, जहां वह फंदे पर लटके हुए थे।
मृतक प्रोफेसर नवीन चौधरी महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी एंड एग्रीकल्चर में प्रोफेसर थे। हमेशा की तरह प्रोफेसर नवीन सुबह कॉलेज पहुंचे। स्टाफ से मिलने के बाद वह अपने चेंबर में चले गए, जहां से काफी देर तक वह बाहर नहीं आए। विभागाध्यक्ष के कहने पर स्टाफ ने जाकर देखा तो प्रोफेसर नवीन फांसी पर लटके हुए थे।
स्टाफ को नहीं हुआ जरा सा भी एहसास
प्रोफेसर नवीन कॉलेज के समय सुबह 9 बजे जब दफ्तर पहुंचे और पूरे स्टाफ से हमेशा की तरह मिले तो किसी को भी इस बात का एहसास नहीं हुआ कि उनके द्वारा आत्महत्या कर ली जाएगी। स्टाफ के अनुसार प्रोफेसर नवीन काफी मिलनसार व्यक्ति थे।
कॉलेज में सुसाइड का संभव तैयार पहला मामला
किसी प्रोफेसर प्रोफेसर द्वारा अपने ही कॉलेज में दफ्तर के चेंबर में फांसी लगाने का यह उदयपुर का संभव पहला मामला है। सुसाइड करने से पहले प्रोफेसर नवीन ने एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है।
पुलिस पहुंची मौके
प्रोफेसर नवीन द्वारा फांसी का फंदा लगाया जाने की स्टाफ ने प्रताप नगर थाना पुलिस को सूचना दी। जिस पर पुलिस जाब्ता कॉलेज पहुंचा और प्रोफेसर नवीन केशव को फंदे से उतरकर मोर्चरी में रखवाया।
आत्महत्या के कर्म का होगा अब खुलासा
प्रोफेसर नवीन द्वारा आत्महत्या के बाद उनका सुसाइड नोट पुलिस ने जब्त कर लिया है। सुसाइड नोट फिलहाल सार्वजनिक नहीं हुआ है। सुसाइड नोट में लिखी बात पता चलने के बाद ही यह स्पष्ट हो सकेगा कि प्रोफेसर नवीन ने किस कारण से आत्महत्या की।
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