मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड हिजाब मामले में सुप्रीम कोर्ट जाएगा, मुसलमानों से सब्र और शांति बनाए रखने की अपील
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड हिजाब मामले में कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगा।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड हिजाब मामले में कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देगा। इसका फैसला बोर्ड की लीगल कमेटी और सचिवों की ऑनलाइन बैठक में लिया गया। बोर्ड का मानना है कि हाईकोर्ट के निर्णय में व्यक्ति की स्वतंत्रता को पूरी तरह से अनदेखा किया गया है।
बोर्ड ने मुस्लिम समुदाय से धैर्य से काम लेने और शांति बनाये रखने की अपील की है। बोर्ड के महासचिव मौलाना खालिद सैफुल्लाह रहमानी ने बताया कि हिजाब मामले में कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले में कई खामियां हैं। शरियत के किसी कानून पर उलमा की राय महत्वपूर्ण होती है, लेकिन फैसले में इस पहलू को शामिल नहीं किया गया है। ऐसे में इस फैसले से न्याय की मांग पूरी नहीं हो सकी है। इस तरह के फैसलों से लग रहा है कि अदालतें मजहबी मामले में पक्षपातपूर्ण मानसिकता का शिकार होती जा रही हैं।
ऑनलाइन बैठक में लीगल कमेटी के संयोजक यूसुफ हातिम मछाला, एडवोकेट एम आर शमशाद, एडवोकेट ताहिर हकीम, एडवोकेट फुजैल अहमद अय्यूबी, नियाज अहमद फारूकी, बोर्ड सचिव मौलाना फजलुर्रहीम मुजद्दिदी, मौलाना उमरैन महफूज रहमानी, डा. कासिम रसूल इलियास, कमाल फारूकी, मौलाना सगीर अहमद रशादी, मौलाना अतीक अहमद बस्तवी और रहमान खान शामिल रहे।
ज्यादा से ज्यादा गर्ल्स स्कूल स्थापित करें मुसलमान
बोर्ड ने उलमा, बुद्धिजीवी, शिक्षाविद, पूंजीपतियों और व्यापारियों से ज्यादा से ज्यादा लड़कियों के विद्यालय खोलने की अपील की। कहा, इन स्कूलों में इस्लामी माहौल और नैतिक मूल्यों के साथ स्तरीय शिक्षा की व्यवस्था की जाए। बोर्ड ने यह भी कहा कि जिन राज्यों में सरकार स्कार्फ पर पाबंदी लगाए, वहां सरकार के खिलाफ शांति से प्रदर्शन करें।