प्रदेश भर में लघु बिजली परियोजनाओं पर नए नियम लागू, प्रोजेक्टों को 30 पैसे प्रति यूनिट का फायदा
शिमला: विद्युत नियामक आयोग ने साढ़े छह मेगावाट तक के लघु बिजली प्रोजेक्ट पर नए नियम लागू कर दिए हैं। अब इन नियमों के तहत बिजली प्रोजेक्टों को भुगतान करना होगा। शुरुआत में इन नियमों को हाइड्रो प्रोजेक्ट पर लागू किया गया है और इसी महीने में आयोग सोलर प्रोजेक्ट पर भी नए नियम लागू करने की तैयारी में है। पांच से साढ़े छह मेगावाट तक मेंटेनेंस कोस्ट नए फैक्टर के साथ लागू होगी। इस नियम के लागू होने के बाद साढ़े छह मेगावाट तक 25 से 30 पैसे प्रति यूनिट का फायदा बिजली प्रोजेक्ट को होगा। हाइड्रो प्रोजेक्ट में साढ़े तीन रुपए प्रति यूनिट के हिसाब से बिजली की खरीद होगी। खास बात यह है कि बिजली बोर्ड वाटर सेस का बिल देगा और एक महीने में बिल के अनुरूप ही भुगतान करना होगा।
विद्युत नियामक आयोजन ने इस नियम को पहली अक्तूबर से समूचे प्रदेश की बिजली परियोजनाओं पर लागू कर दिया और इस बारे में अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। विद्युत नियामक आयोग सोलर प्रोजेक्ट पर नियम निर्धारण को लेकर तारीख तय कर दी है। सोलर प्रोजेक्ट पर 17 अक्तूबर तक आपत्तियां मांगी गई हैं। इन आपत्तियों के आधार पर विद्युत नियामक आयोग भविष्य में हाइड्रो की तर्ज पर ही सोलर प्रोजेक्ट के लिए भी नए नियम तय करेगा। उधर, आयोग सचिव छवि नांटा ने बताया कि विद्युत नियामक आयोग के नियम पहली अक्तूबर से लागू हो गए हैं। उन्होंने बताया कि शुरुआत में हाइड्रो प्रोजेक्ट और इसके बाद सोलर प्रोजेक्ट इन नियमों की परिधि में आएंगे।