ड्रोन नीति में हिमाचल अव्वल
हिमाचल प्रदेश ड्रोन नीति को मंजूरी देने वाला भारत का पहला राज्य बना है। सरकारी क्षेत्र सहित विभिन्न क्षेत्रों में ड्रोन के उपयोग की संभावनाओं का पता लगाने के लिए 14 दिसंबर, 2021 को धर्मशाला में ड्रोन मेला आयोजित किया गया, जिसमें विभिन्न ड्रोन निर्माताओं ने भाग लिया। राज्य के आईटी विभाग ने परियोजना की भी परिकल्पना की है, जिसका उद्देश्य ड्रोन के उपयोग से प्रशासन और सुधार है।
दुर्गम क्षेत्रों में ड्रोन से सप्लाई
क्षेत्रीय अस्पताल और मेडिकल कालेज, नेरचौक और धर्मशाला से टांडा मेडिकल कालेज तक दवाएं पहुंचाने के लिए ड्रोन का सफल ट्रायल रन किया गया है। आईटी विभाग ने ड्रोन कंपनियों के सहयोग से कुल्लू व चंबा जिलों के दुर्गम एवं दूरदराज के इलाकों में ड्रोन का उपयोग कर दवाओं की डिलीवरी के लिए प्रूफ ऑफ कान्सेप्ट (पीओसी) का आयोजन किया। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने मार्च, 2022 में आईटीआई, शाहपुर, कांगड़ा में हिमाचल के पहले ड्रोन स्कूल का उद्घाटन किया।
शिमला-धर्मशाला में सॉफ्टवेयर पार्क
आईटी निवेश को बढ़ावा देने के लिए शिमला और धर्मशाला के गग्गल में सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क ऑफ इंडिया (एसटीपीआई) के दो केंद्र स्थापित किए जा रहे हैं। इसके अलावा, हिमाचल प्रदेश कौशल विकास निगम को सोलन जिले में वाकनाघाट स्थित आईटी पार्क में स्थानीय युवाओं के कौशल विकास के लिए सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना के लिए जमीन उपलब्ध करवाई गई है। मुख्यमंत्री ने दिसंबर, 2020 में इसकी आधारशिला रखी थी।
विभागों में ई-ऑफिस परियोजना लागू
कागज रहित कार्यालयों को सक्षम बनाने के लिए प्रदेश में विभिन्न विभागों में ई-ऑफिस परियोजना लागू की जा रही है। सचिवालय के साथ-साथ 57 निदेशालयों, 11 उपायुक्त कार्यालय, 10 पुलिस अधीक्षक कार्यालयों के अलावा 26 फील्ड कार्यालयों सहित अब तक 5715 अधिकारियों और अधिकारियों को ई-ऑफिस के अंतर्गत शामिल किया है।
4,39,456 शिकायतें दर्ज
मुख्यमंत्री सेवा संकल्प हेल्पलाइन-1100 शिकायतों और सुझावों को दर्ज करने या जानकारी प्राप्त करने और प्रतिक्रिया प्रदान करने के लिए एक केंद्रीकृत शिकायत प्रणाली है। एमएमएसएस हेल्पलाइन में अब तक कुल 4,39,456 शिकायतें दर्ज की गई हैं, जिनमें से 4,24,782 शिकायतों का समाधान संबंधित नागरिकों की संतुष्टि के अनुसार किया है। आईटी विभाग ने वित्तीय वर्ष 2021-22 के दौरान संबंधित विभागों के साथ 160 (केंद्र की 73 व राज्य की 87) योजनाओं की पहचान की जिनमें से 59 योजनाओं में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) लागू किया है। 74 राज्य योजनाओं की अधिसूचना संबंधित विभागों द्वारा जारी कर दी गई है। पिछले वित्तीय वर्ष के दौरान 59 योजनाओं के तहत 13.83 लाख लाभार्थियों को डीबीटी के माध्यम से 2283.58 करोड़ रुपए हस्तांतरित किए गए।