छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट हवाई सुविधा विस्तार में देरी पर सख्त

Update: 2024-09-03 05:14 GMT

बिलासपुर bilaspur news। बिलासपुर में एयरपोर्ट और हवाई सुविधा के विकास को लेकर दायर जनहित याचिकाओं पर सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने विकास कार्यों में हो रही देरी पर कड़ा रुख अपनाया है। जस्टिस गौतम भादुड़ी और जस्टिस राधा कृष्ण अग्रवाल की खंडपीठ ने राज्य और केंद्र सरकार को जमीन हस्तांतरण के मामले में स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं। Bilaspur Airport

नाइट लैंडिंग सुविधा के प्रगति की समीक्षा के दौरान राज्य सरकार ने बताया कि 5 अगस्त को हुई बैठक में डीवीओआर टेक्नोलॉजी के उपकरण लगाने पर सहमति हो गई थी। छत्तीसगढ़ सरकार ने एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया द्वारा बताए गए खर्च को वहन करने के लिए सहमति पत्र जारी किया है।

याचिकाकर्ताओं के अधिवक्ता सुदीप श्रीवास्तव ने कोर्ट से आग्रह किया कि बैठक के मिनट्स और सहमति पत्र को रिकॉर्ड पर लाया जाए, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया। जमीन हस्तांतरण के मामले में श्रीवास्तव ने जानकारी दी कि 90 करोड़ रुपये की धनराशि वापस कर दी गई है और अब नई रायपुर में जमीन की मांग की जा रही है, जबकि रक्षा मंत्रालय ने 287 एकड़ भूमि देने पर सहमति दी थी। हाईकोर्ट ने दोनों सरकारों को भूमि हस्तांतरण पर स्थिति स्पष्ट करने के निर्देश दिए हैं। इसके अलावा नाइट लैंडिंग उपकरणों के लिए नए बाउंड्री वाल के निर्माण और अन्य छोटे-छोटे कार्यों पर भी चर्चा हुई। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई दो सप्ताह बाद रखी है।


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