मां भगवती के द्वितीय स्वरूप Maa Brahmacharini का आशीर्वाद लेने समस्त क्षेत्र वासियों ने की पूजा अर्चना

Update: 2024-10-05 11:09 GMT
Mahasamundमहासमुंद: जिला पंचायत क्षेत्र क्रमांक - 2 में मां भगवती के द्वितीय स्वरूप मां ब्रह्मचारिणी का आशीर्वाद लेने ग्राम बीरबीरा, कोडार बांध, कुहरी, बांसकुड़ाहा, छपोराड़ीह, जलकी, बांसकुड़ाहा पट्टी नंबर दो, फुसेराड़ीह पूजा अर्चना कर जगत जननी से समस्त क्षेत्र वासियों के सुख-सौभाग्य और समृद्धि के लिए प्रार्थना किया, क्षेत्र के लोगों से भेंट कर कुशल क्षेम जाना, भाजपा किसान नेता अशवंत तुषार साहू अपने उद्बोधन में कहां ऐसी मान्यता है कि मां ब्रह्मचारिणी की पूजा करने से भक्तों को जीवन में आने वाली सभी बाधाओं और कठिनाइयों से मुक्ति मिलती है। यह तप, त्याग, संयम और सदाचार जैसे गुणों को भी बढ़ावा देती है, जो आध्यात्मिक उन्नति के लिए आवश्यक माने जाते हैं। तुषार ने आगे कहां शास्त्रों के अनुसार, मां दुर्गा ने पार्वती के रूप में हिमालय की पुत्री के रूप में जन्म लिया था।
नारद मुनि के कहने पर, उन्होंने भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए कठोर तपस्या की। हजारों वर्षों तक उनकी कठोर तपस्या के कारण ही उन्हें तपस्विनी या ब्रह्मचारिणी कहा जाता है। इस कठिन तपस्या के दौरान, उन्होंने कई वर्षों तक बिना कुछ खाए-पिए कठोर तपस्या की और महादेव को प्रसन्न किया। उनके इसी तप के प्रतीक के रूप में नवरात्र के दूसरे दिन इनके इसी रूप की पूजा और स्तवन किया जाता है। नवरात्रि के दूसरे दिन, मां के इस रूप की पूजा उनके दृढ़ संकल्प और समर्पण के प्रतीक के रूप में की जाती है। यह दिन हमें सिखाता है कि सच्ची श्रद्धा और दृढ़ निश्चय से हम किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।
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