दरभंगा न्यूज़: शहर के व्यवसाई पवन पोद्दार की पत्नी चंदा देवी पोद्दार का निधन हो गया. उन्होंने मरणोपरांत नेत्र दान की इच्छा जताई थी.
उनकी इच्छा का सम्मान करते हुए उनके परिजनों ने दधीचि देहदान समिति के कार्यकर्ताओं के माध्यम से डीएमसीएच के नेत्र विभाग को इसकी सूचना दी. विभागाध्यक्ष डॉ. आसिफ शाहनवाज और डॉ. रणधीर कुमार के नेतृत्व में पहुंची टीम ने वहां पहुंचकर उनकी इच्छा पूरी की. उनके इस महादान से दो और लोगों की आंखों की रोशनी लौटने का रास्ता प्रशस्त हो गया है. कॉर्निया को आई बैंक में सुरक्षित रख दिया गया है. परिजनों को टीम ने प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया.
दधीचि देहदान समिति, बिहार की दरभंगा ईकाई के संयोजक मनमोहन सरावगी ने बताया कि बद्री प्रसाद महनसरिया की और से नेत्रदान करने से चंदा देवी पोद्दार को प्रेरणा मिली. चंदा देवी अपने पीछे भरा पूरा छोड़ गई है. उनके पति पवन पोद्दार ने कहा कि अपनी पत्नी की अंतिम इच्छा पूरी कर काफी सुकून की अनुभूति हो रही है. उनकी आंखें अगर किसी के काम आ जाए तो इससे अच्छा क्या हो सकता है. पोते मनन पोद्दार ने कहा कि उनकी दादी पिछले कई दिनों से यह कह रही थी की मरणोपरांत उनका नेत्रदान जरूर करवाना. मौके पर उपस्थित प्रमंडलीय वाणिज्य एवं उद्योग परिषद के प्रधान सचिव श्री सुशील जैन ने कहा कि नेत्रदान कर दो लोगों के जीवन में उजियारा लाने से बड़ा पुण्य का काम क्या होगा. वहीं बिहार प्रादेशिक मारवाड़ी सम्मेलन, दरभंगा के अध्यक्ष प्रो. अशोक पोद्दार ने उनकी इच्छा पूरी करने के लिए परिजनों को साधुवाद दिया.
नेत्र विभाग के अध्यक्ष डॉ. आसिफ शाहनवाज ने बताया कि कॉर्निया को सुरक्षित रखा गया है. जल्द दो लोगों का कॉर्निया ट्रांसप्लांट किया जाएगा.