घने कोहरे के चलते रद्द हुई 12 फ्लाइट्स, तय समय पर नहीं पहुंच सके छह विमान

पटना सहित पूरे बिहार में शीतलहर जैसे हालात हैं। इसका जनजीवन पर असर पड़ा है। सोमवार को छह जोड़ी विमान रद्द रहे, वहीं कई देरी से उड़े। ट्रेनों की चाल भी धीमी हो गई है।

Update: 2022-01-18 02:02 GMT

फाइल फोटो 

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। पटना सहित पूरे बिहार में शीतलहर जैसे हालात हैं। इसका जनजीवन पर असर पड़ा है। सोमवार को छह जोड़ी विमान रद्द रहे, वहीं कई देरी से उड़े। ट्रेनों की चाल भी धीमी हो गई है।

सोमवार को पटना में धूप निकली लेकिन कोई खास असर तापमान पर नहीं पड़ा। पिछले 24 घंटे में पटना के अधिकतम पारे में 2.4 डिग्री और न्यूनतम में 2.2 डिग्री की गिरावट से कनकनी बढ़ गई। पटना में पिछले दो दिनों में लगभग चार डिग्री जबकि न्यूनतम तापमान में तीन डिग्री की गिरावट आई है। अगले दो दिनों में पारा और नीचे जा सकता है। सोमवार को पटना का अधिकतम पारा 17.2, न्यूनतम 8.2 डिग्री सेल्सियस रहा।
पहला विमान स्पाइसजेट का उतरा
सोमवार को पटना के छह जोड़ी विमान रद्द रहे। सुबह नौ बजे तक मात्र छह सौ मीटर की दृश्यता की वजह से विमानों के उतरने में मुश्किल हुई। पटना एयरपोर्ट पर सुबह स्पाइस जेट का पहला विमान 22 मिनट की देरी से नौ बजकर 22 मिनट पर उतरा। दूसरा नौ बजकर 25 मिनट की जगह दिन में दस बजे आया। दिल्ली से पटना आने वाली विस्तारा की पहली फ्लाइट भी 31 मिनट की देरी से पहुंची। गो एयर की दिल्ली और स्पाइस जेट की बेंगलुरू से आने जाने वाली फ्लाइट भी लेट रही। अहमदाबाद से आने वाली एसजी 391, दिल्ली से जी 8 143, बेंगलुरू से जी 8873, दिल्ली से जी 82511, बेंगलुरू से आने वाली गो एयर की जी 8 274 एवं दिल्ली से आने वाली जी 8231 भी रद्द रही।
रिकॉर्ड नहीं टूटा
पटना मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विवेक सिन्हा ने बताया कि प्राप्त आंकड़े अभी रिकॉर्ड तोड़ ठंड की स्थिति नहीं बता रहे। मंगलवार को ठंड और बढ़ सकती है।मौसम विज्ञान केंद्र पटना के अनुसार जनवरी में इससे ज्यादा ठंड की स्थिति विगत सालों में रही है। 14 जनवरी 2020 को न्यूनतम तापमान 7.6 डिग्री रहा था। वर्ष 2019 में तीन जनवरी को पारा 6.6 डिग्री पर आ गया था। वर्ष 2018 में पांच जनवरी को 4.7 डिग्री तापमान था। 2016 और 17 में पटना का पारा 4.8 डिग्री के न्यूनतम स्तर तक पहुंचा था। वर्ष 2015 में न्यूनतम पारा 21 जनवरी को 4.5 डिग्री पर रहा था। पटना में जनवरी महीने में ठंड का रिकॉर्ड वर्ष 1984 का रहा है, जब पटना का न्यूनतम पारा 21 जनवरी 1984 को 1.4 डिग्री के सबसे निम्न स्तर पर आ गया था।
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