महिलाओं के शरीर में हार्मोनल फंक्शन की एक बड़ी भूमिका होती है। उन्हें बार-बार पेशाब आता है। हालाँकि ज़्यादातर महिलाओं को बार-बार पेशाब आने की वजह नहीं पता होती। पढ़ी लिखी महिलाएं भी उसको यूटीआई इंफेक्शन या फिर वजनाइनल इंफेक्शन समझती हैं। हालाँकि इसके बहुत से कारण हो सकते हैं।
1. पानी, शराब और कैफीन की अधिकता
डाइयुरेटिक्स ऐसा पेय पदार्थ है जो शरीर में पानी की मात्रा बढ़ाते हैं और ये महिलाओं को बार-बार पेशाब आने का एक कारण हो सकता है। । पानी, शराब और कैफिन का अधिक सेवन करने से आपको रह-रह कर पेशाब लग सकता है।
2. यूटीआई इंफेक्शन
महिलाओं को यूटीआई इंफेक्शन तब होता है जब बैक्टीरिया आपके यूरिनरी सिस्टम के कुछ भाग में इन्फेक्शन फैलाता है। इसमें बार-बार पेशाब आने के अतिरिक्त पेशाब में जलन और पेशाब का रंग बदलना शामिल है।
3. ओवरएक्टिव ब्लैडर
ओवरएक्टिव ब्लैडर का मतलब है कि आपका यूरिनरी ब्लैडर बहुत तेजी से काम करता है। इस कारण अधिक पेशाब होता है। हालांकि ऐसा प्रौढ़ महिलाओं में ज्यादा होता है।
4. वैजिनाइटिस
वैजिनाइटिस में वजाइना में सूजन और दर्द रहता है। ये किसी प्रकार के इन्फेक्शन की वजह से भी होता है। इसमें जेनिटल्स में दर्द और बेचैनी होती है और बार-बार पेशाब करने का एहसास होता है। पेशाब करते समय आपको जलन या खुजली भी हो सकती है।
5. पेल्विक फ्लोर का कमजोर होना
अधिक उम्र होने या प्रेग्नेंसी की वजह से महिलाओं का पेल्विक फ्लोर दुर्बल हो जाता है। इससे भी बार बार पेशाब आ सकता है। ये वजाइनल डिलीवरी की महिलाओं में अधिक होता है क्योंकि उनकी मसल्स टेंस हो जाती हैं। जिससे पेल्विक फ्लोर कमजोर हो जाता है।
6. यूरिनरी ब्लैडर में पथरी
यूरिनरी ब्लैडर की पथरी पुरुषों में ज्यादा होती है। लेकिन खराब लाइफस्टाइल की वजह से महिलाएं भी इसका शिकार हो जाती हैं। ऐसे में महिलाओं को बार-बार पेशाब महसूस होता है।
7. एस्ट्रोजन में कमी
एस्ट्रोजन महिलाओं के शरीर में कई बदलाव लाता है। एस्ट्रोजन हार्मोन महिलाओं के वजाइना को स्वस्थ रखता है। अगर आपके शरीर में एस्ट्रोजन की मात्रा की कमी होती है तो आपको बार-बार पेशाब आ सकता है।
8. प्रेग्नेंसी
प्रेग्नेंसी में भारी पेट होने कि वजह से पेल्विक फ्लोर पर दबाव पड़ता है। जिसके कारण महिलाओं को बार-बार पेशाब आने का एहसास होता है। बच्चे के जन्म के बाद ये सब सामान्य हो जाता है।
9. डायबिटीज
डायबिटीज के कारण आपका शरीर शुगर के लेवल को ठीक से कंट्रोल नहीं कर पाता। इससे सिस्टम में एक्स्ट्रा शुगर एकत्र होती है। इसलिए बार-बार पेशाब आता है।