VASTU TIPS: रसोई का वास्तु बना सकता है कई बिगड़े काम, जानें कहीं आपकी किचन में तो नहीं रखी ये चीज
वास्तु में दिशायें और दिग्पाल होते हैं, इसलिए घर में हर स्थान का निर्माण दिशा के अनुसार होना बहुत जरूरी होता है। घर में रसोई वास्तु के अनुसार ही होनी चाहिए। घर की रसोई का काम ज्यादातर स्त्रियों के जिम्मे होता है।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क| वास्तु में दिशायें और दिग्पाल होते हैं, इसलिए घर में हर स्थान का निर्माण दिशा के अनुसार होना बहुत जरूरी होता है। घर में रसोई वास्तु के अनुसार ही होनी चाहिए। घर की रसोई का काम ज्यादातर स्त्रियों के जिम्मे होता है। इसलिए रसोईघर में किसी प्रकार का वास्तु दोष होने पर सबसे ज्यादा नकारात्मक प्रभाव घर की महिलाओं पर पड़ता है। इसलिए रसोई घर का निर्माण करते समय दिशा का ध्यान अवश्य रखना चाहिए। ज्योतिषाचार्या साक्षी शर्मा से जानते है कैसा होना चाहिये रसोई घर का वास्तु।
आग्नेय दिशा में हो रसोई-
घर में रसोई का निर्माण दक्षिण-पूर्व दिशा यानि आग्नेय कोण में करना चाहिए। इस दिशा के स्वामी शुक्र ग्रह है। वास्तु के अनुसार दक्षिण-पश्चिम दिशा में रसोई नहीं बनानी चाहिए। इससे आपके घर में अनावश्यक व्यय होता है।
कुकिंग की दिशा-
रसोई घर में चूल्हा रखने का स्थान पूर्व या उत्तर दिशा की ओर हो यह उचित रहता है। जिससे भोजन बनाते समय गृहणी का मुहं उत्तर या पूर्व दिशा की तरफ रहे।
पानी का सही स्थान-
अगर आपकी रसोई में माइक्रोवेव आदि हैं तो उसे दक्षिण पूर्व के कोने में रखें। रसोई में पानी का स्थान या फ्रिज उत्तर-पश्चिम दिशा में रखना उचित रहता है।
भंडारण की दिशा-
किचन में आटा, चावल और खाद्य पदार्थ की सामाग्री को पश्चिम या दक्षिण दिशा में रखना चाहिए।
खिड़की हो पूर्व में-
किचन की खिड़की पूर्व या उत्तर दिशा में बनानी चाहिए। प्रकाश करने के लिए बल्व आदि भी इसी दिशा में लगाएं। इसके अतिरिक्त रसोई घर में बर्तन धोने का स्थान यानि सिंक उत्तर पूर्व दिशा में लगवाना चाहिए।
क्या है रसोई में वर्जित-
रसोई घर में कभी देवी-देवताओं का स्थान नहीं बनाना चाहिए। रसोई घर में कभी दवाइयां भी नहीं रखनी चाहिए। रसोई घर बनाते हुए ध्यान रखें कि बाथरूम और रसोई के दरवाजे आमने-सामने न हो। रसोई घर और बाथरुम को एक सीध में नहीं बनाना चाहिए।