धीमे जहर की तरह काम करते हैं ये आहार, शरीर को अंदर से कर रहे खोखला

शरीर को अंदर से कर रहे खोखला

Update: 2023-08-17 13:49 GMT
हर किसी को अपनी सेहत का ख्याल रखना जरूरी होता हैं जिसमें आपका खानपान बहुत मायने रखता हैं। आपका अच्छा खानपान ही इम्यूनिटी को बढ़ाने का काम करता हैं। लेकिन इसी के साथ ही आपका गलत खानपान भी सेहत के साथ खिलवाड़ करने जैसा हैं। ऐसे खानपान शरीर की बीमारियों को दूर करने की क्षमता को नुकसान पहुंचाते हैं। लोग खुद शरीर को नुकसान देने वाली चीजों की तरफ आकर्षित हो रहे हैं। आज इस कड़ी में हम आपको कुछ ऐसे आहार के बारे में बताने जा रहे हैं जो धीमे जहर की तरह काम करते हैं और शरीर को अंदर से खोखला कर रहे हैं। आइये जानते हैं उन आहार के बारे में जिनसे दूर बनाए रखने में ही आपकी समझदारी हैं।
सोडा और अन्य कार्बोनेटेड पेय
इन बीवरेज में अनावश्यक कैलोरी होती हैं, भले ही वे 100 प्रतिशत वास्तविक फलों का रस होने का दावा ही क्यों न करते हों। ऐसे पेय पदार्थों के साथ समस्या यह है कि इनमें फाइबर नहीं होता है, इसलिए आप इन्हें पीने के बाद वास्तव में भरा हुआ महसूस नहीं करते हैं और इस हिस्से को नियंत्रित करना कठिन होता है। उनमें न केवल कैलोरी होती है, बल्कि उनके सेवन से वजन और मोटापा भी बढ़ सकता है। चूंकि कई रिपोर्टें पहले से ही कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली के साथ मोटापे से जुड़ी हुई हैं, इसलिए सोडा और अन्य मीठे पेय पदार्थों के सेवन का विकल्प चुनते वक्त बहुत ज्यादा सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है।
रिफाइंड तेल
यह तेल भी शरीर के लिए बहुत घातक होता है। इसके सेवन से भी कई गंभीर बीमारियां उत्पन्न हो जाती हैं। एक शोध के अनुसार रिफाइंड तेल को 200-225 डिग्री पर आधे घंटे तक गर्म करने से उसमे से बहुत ही टोक्सिक पदार्थ एचएनई निकलता है। यह लिनोलिक एसिड के आक्सीकरण से बनता है। इस लिए यह ऊतकों में प्रोटीन और अन्य आवश्यक तत्वों को गंभीर रूप से नुकसान पहुंचाता है। इसके सेवन से स्ट्रोक, पार्किसन, अल्जाइमर रोग, यकृत रोग जैसी कही गंभीर बीमारियों को जन्म दे देता है।
फास्ट फूड
पिछले कुछ दशकों में फास्ट फूड का चलन तेजी से बढ़ा है। खासकर बच्चे इसका सेवन अधिक करते हैं। फास्ट फूड के सेवन से कई ऐसी समस्याएं जन्म लेतीं हैं, जो शरीर के लिए बहुत ही घातक मानी जाती हैं। फास्ट फूड के सेवन से मोटापा, चर्म रोग, दांतों के रोग, सिर दर्द, उच्च रक्तचाप, कोलेस्ट्रोल, डायबिटीज, हृदय रोग और अवसाद जैसी गंभीर बीमारियां उत्पन्न हो जाती हैं।
कॉफी और अन्य कैफीनयुक्त पेय
अगर आप अपने दिन की शुरुआत एक गर्म कप कॉफी के साथ करते हैं, तो हमारे पास आपके लिए कुछ है। एक या दो कप कॉफी आपके शरीर पर किसी भी तरह का हानिकारक प्रभाव नहीं छोड़ती है। लेकिन इसके बाद इन कप की बढ़ती संख्या हमारे इम्यून सिस्टम पर कहर ढाती है। यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि बहुत अधिक कैफीन कोर्टिसोल के उच्च स्तर को रिलीज कर सकते हैं, जो हमारी प्रतिरक्षा प्रणाली के रिसपोन्स करने की शक्ति को बदल सकती है। हम आपको दिन में कैफीन युक्त पेय पदार्थों पर निर्भर न होने का सुझाव देते हैं।
नमक वाले खाद्य पदार्थ
चिप्स, फ्रोजन डिनर और फास्ट फूड जैसे नमकीन खाद्य पदार्थों को शरीर की प्रतिरक्षा को खराब करने के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है। PubMed Central में 2019 में छपे एक अध्ययन के अनुसार, नमक प्रतिरक्षा के कार्य को बाधित करने के अलावा आंत के बैक्टीरिया को बदल सकता है। जिससे अल्सरेटिव कोलाइटिस, रूमेटाइड अर्थराइटिस और ल्यूपस जैसी आटोइम्यून डिसीज की संभावना बढ़ती है।
कैंडी और अन्य प्रोसेस्ड शुगर
हम सभी का मन किसी न किसी समय कुछ मीठा खाने का जरूर करता है लेकिन यह समस्या खड़ी कर देता है खासकर जब आप बहुत ज्यादा प्रोसेस्ड फूड का सेवन करते हैं, जो शुगर से भरी हुई होती हैं। शुगर से लदी कैंडी भले ही हमारे टेस्ट बड्स को आनंद देती है लेकिन विभिन्न प्रकार के स्वादों में मौजूद ये कैंडी शरीर में मौजूदा सूजन व जलन को और बढ़ाने में योगदान करती हैं। जैसे ही हमारे शरीर में इंफ्लेमेटरी बढ़ाने वाले कारकों की वृद्धि होती है शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली पर हमला होना शुरू हो जाता है। अगर आप स्वाभाविक रूप से अपनी क्रेविंग पर अंकुश लगाना चाहते हैं, तो हम आपको इसके बजाय ताजे फलों का विकल्प चुनने की सलाह देते हैं।
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