इस तरह करें अचार का रख-रखाव, बिना फंगस लगे चलेगा लंबे समय तक
बिना फंगस लगे चलेगा लंबे समय तक
भारतीय भोजन में अचार का बड़ा महत्व होता हैं। हर घर में अचार बनाया जाता हैं और उसे काफी लंबे समय के लिए सहेज कर रखा जाता हैं। लेकिन लोगों के सामने सबसे बड़ी चिंता होती हैं अचार में फफूंद लगने की। जी हां, अचार बनाते और भरते समय की गई गलती आपके अचार को बर्बाद कर सकती हैं। आज इस कड़ी में हम आपको अचार बनाते और भरते समय रखी जाने वाली सावधानियों के बारे में बताने जा रहे हैं ताकि आपक अचार पर फंगस ना लगे और यह लंबे समय तक चले।
अचार ख़राब होने के कारण
- अचार ख़राब होने का मुख्य कारण फफूंद लगना होता है। अचार में डाली जाने वाली सामग्री में नमी रह जाने के कारण भी यह समस्या हो सकती है।
- अचार के ऊपर की तेल की सतह अचार को ख़राब होने से बचाती है। अचार के ऊपर तेल पर्याप्त मात्रा में नहीं होने के कारण अचार ख़राब हो सकता है।
- अचार बनाने में काम में लिए जाने वाले बर्तन तथा चम्मच आदि पूरी तरह साफ नहीं हो तो यह अचार ख़राब होने का कारण बन सकता है।
- अचार बनाने की सामग्री जैसे केरी, नींबू, आंवला आदि पर दाग धब्बे होने पर अचार ख़राब होने और फफूंद लगने की संभावना होती है।
- शुरू-शुरू में अचार को हिलाना होता है, इसमें कमी होने पर अचार ख़राब हो सकता है।
अचार बनाते समय ध्यान रखने योग्य बातें
- साफ सफाई का पूरा ध्यान रखे।
- अचार बनाने वाली सब्जी व मसाले आदि किसी भी चीज में नमी न रहें।
- सब्जियां ताजी व बिना दाग धब्बे वाली हो।
- आचार में मसाले जैसे लालमिर्च व हल्दी आदि तेज गर्म तेल में डालने से जल सकते है और अचार काला पड़ सकता है अतः तेल के गुनगुने या ठंडे होने पर ही मसाले डालें।
- मीठा अचार बना रहे है तो चाशनी का पर्याप्त गाढ़ा होना बहुत जरूरी है।
- अचार में नमक की सही मात्रा होने पर भी अचार जल्दी खराब नहीं होता है।
- अचार में तेल, नमक, शक़्कर, हींग व सिरका आदि संरक्षण प्रिजर्वेशन का काम करते है।
- प्लास्टिक के जार में भी अचार खराब नहीं होता हैं लेकिन स्वास्थ्य की दृष्टि से अच्छा नहीं रहता अतः कोशिश करें की अचार भरने के लिए जार कांच का ही लें।
- अचार भरने से पहले कंटेनर को डिटर्जेंट व गर्म पानी से अच्छी तरह धोकर साफ करें व पूरी तरह सूखने के बाद ही उसमें अचार भरें ।
अचार का रख रखाव
- अचार बनाने के बाद दो तीन दिन अचार को मलमल के कपड़े से ढक कर धूप में रखे ताकि अचार की नमी निकल जाये और अचार लम्बे समय तक खराब नहीं हो।
- अचार के मसाले में नमी होने पर भी अचार जल्दी खराब हो सकते है इसीलिए मसालों को अचार बनाने से पहले थोड़ा भून लें या धूप में रखकर नमी निकाल दें।
- अचार कई तरह से बनाए जाते है जैसे तेल वाले अचार , बिना तेल वाले अचार , मीठे अचार। कुछ अचार एक महीने के लिए बनते हैं तो कुछ अचार पूरे साल काम में लिए जाते है।
- अचार में नमक प्रिजर्वेटिव का काम करता है। नमक की मात्रा कम होने पर भी अचार खराब हो सकते हैं।
- तेल वाले अचार में अचार का तेल में डूबा रहना जरूरी होता है , छोटे कंटेनर में भी । इससे फंगस से बचाव होता है।
- मीठा अचार बनाते समय अचार में पानी नही रहना चाहिए । यदि चाशनी वाला अचार बना रहे है तो चाशनी का एक तार जितना पकाना जरूरी होता है।
- रोजाना काम में लेने के लिए अचार को बड़े कंटेनर से कांच के किसी छोटे कंटेनर में निकाल ले इससे अचार जल्दी खराब नहीं होते और काम में लेने में भी सुविधा रहती है।
- अचार हमेशा तेल में डूबा रहना चाहिए। एक बार अचार निकलने के बाद बचे हुए अचार को वापस अच्छे से डुबो दें ताकि अचार के ऊपर तक तेल रहे और अचार तेल में डूबा रहे।