जानिए कैसा होना चाहिए स्वस्थ जीभ का रंग
आपकी जीभ आपकी सेहत का राज बताती है. जी हां, जीभ के रंग बदलने से आप शरीर में होने वाली बीमारी का पता लगा सकते हैं
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। आपकी जीभ आपकी सेहत का राज बताती है. जी हां, जीभ के रंग बदलने से आप शरीर में होने वाली बीमारी का पता लगा सकते हैं. हर किसी की जीभ की बनावट और रंगत अलग होती है, लेकिन यदि जीभ के रंग में अचानक ही परिवर्तन आ जाए तो यह किसी बीमारी का संकेत है. हालांकि कई बार जीभ का रंग खाने और दवाईयों के सेवन से बदल जाता है. जीभ पर एक मोटी परत जम जाती है जिसे साफ करने पर आपको अपनी जीभ का रंग दिखाई देगा. जब आप बीमार होते हैं तो डॉक्टर्स भी आपकी जीभ के रंग को देखकर बीमारी का अंदाज लगा लेते हैं. ब्लड और ओरल इंफेक्शन के अलावा आपकी जीभ का रंग आपको हार्ट डिजीज होने का संकेत भी देती है जिसे पहचानना जरूरी है. चलिए जानते हैं कौन सा रंग देता है हार्ट डिजीज का संकेत.
कैसा होना चाहिए स्वस्थ जीभ का रंग
मेडिकल न्यूज टुडे के अनुसारसामान्य तौर पर हेल्दी बॉडी के लिए जीभ का रंग पिंक होना चाहिए जिसपर पतली सी सफेद परत होती है. व्यक्ति के शरीर के अनुसार जीभ का रंग भी लाइट पिंक या डार्क पिंक हो सकता है. एक स्वस्थ जीभ के ऊपर और किनारे कई पैपिला होते हैं. पैपिला छोटे, फ्लैशी बम्प्स होते हैं जो जीभ के उपरी हिस्से को मोटा बनाते हैं.
नीला व पर्पल रंग देता है हार्ट डिजीज का संकेत
हार्ट से जुड़ी समस्या या डिजीज होने पर आपकी जीभ का रंग नीला या पर्पल हो जाता है. जब बॉडी में हार्ट ब्लड को सही ढंग से पंप नहीं करता तो जीभ का रंग नीला या पर्पल होने लगता है. कई बार खून में ऑक्सीजन की कमी से भी जीभ का रंग बदल कर नीला हो जाता है. ऐसी स्थिति गंभीर हो जाती है तो जीभ की ब्लड वेसेल्स में सूजन आने का खतरा भी बढ़ जाता है.
हार्ट डिजीज के अन्य संकेत
– ब्लड सर्कुलेशन का असंतुलन
– हाई ब्लड शुगर
– हाई कोलेस्ट्रॉल
– सीने में दर्द
– गले या जबड़े में दर्द
– अधिक पासीना आना