Life Style लाइफ स्टाइल : गुरुवार को केरल के कोझिकोड जिले में एक 14 साल के बच्चे की amoebic meningoencephalitis की वजह से मौत हो गई। यह एक प्रकार का ब्रेन इन्फेक्शन होता है, जो Brain Eating Amoeba से संक्रमित होने की वजह से होता है। बच्चा एक तालाब में नहा रहा था, जब नाक के जरिए वह अमीबा बच्चे की नाक के जरिए शरीर में प्रवेश कर गया।
यह अमीबा दिमाग को संक्रमित करता है, जिसके बाद 24 जून को बच्चे अस्पताल में भर्ती करवाया गया था, लेकिन इलाज के दौरान गुरुवार को उसकी मौत हो गई। Brain Eating Amoeba के संक्रमण से पिछले दो महीनों में कुल तीन मौतें हो चुकी हैं। इसलिए इस जानलेवा ब्रेन इन्फेक्शन के बारे में जानकारी होना बेहद जरूरी है। आइए जानें क्या है Brain Eating Amoeba और कैसे कर सकते हैं इससे बचाव।
क्या है Brain Eating Amoeba?
क्लीवलैंड क्लीनिक के मुताबिक, Naegleria fowleri एक फ्री लिविंग अमीबा है, जिसे आम भाषा में Brain Eating Amoeba कहा जाता है। यह वॉर्म फ्रेश वॉटर यानी मीठे पानी के गर्म तालाब आदि में रहता है। यह अमीबा नाक के जरिए शरीर में प्रवेश करका है और सेंट्रल नर्वस सिस्टम को संक्रमित करने लगता है, जो जानलेवा होता है।
Brain Eating Amoeba यानी दिमाग खाने वाला अमीबा दिमाग के टिश्यूज को नुकसान पहुंचाने लगता है, जिसकी वजह से ब्रेन इन्फेक्शन होता है। सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल के अनुसार, कई बार यह अमीबा गंदे स्वीमिंग पूल आदि में भी पाया जा सकता है। इससे संक्रमित होने के दो से 15 दिन के बाद इसके लक्षण नजर आने शुरू हो जाते हैं।