हंगामा है क्यों बरपा

जाने-माने कमीडियन और ऐक्टर वीर दास ने वॉशिंग्टन के केनेडी सेंटर में हुए अपने कार्यक्रम की एक विडियो क्लिप सोमवार को अपलोड करके एक नए विवाद को जन्म दे दिया।

Update: 2021-11-19 01:00 GMT

जाने-माने कमीडियन और ऐक्टर वीर दास ने वॉशिंग्टन के केनेडी सेंटर में हुए अपने कार्यक्रम की एक विडियो क्लिप सोमवार को अपलोड करके एक नए विवाद को जन्म दे दिया। विडियो हालांकि देखते-देखते वायरल हो गया, लेकिन 'आई कम फ्रॉम टू इंडियाज...' के जरिए इसमें कही गई बातें पीछे छूट गईं। बहस इस पर शुरू हो गई कि उन्हें विदेशी धरती पर ऐसी बातें कहनी चाहिए या नहीं। दिल्ली में एक बीजेपी नेता ने फटाफट पुलिस में शिकायत भी दर्ज करा दी। वीर दास के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने वालों में बॉलिवुड ऐक्ट्रेस कंगना रनौत भी शामिल हैं। उन्होंने इन्स्टाग्राम पर एक पोस्ट में वीर दास को अपराधी और उनके कृत्य को सॉफ्ट टेररिज्म करार देते हुए उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की।

दिलचस्प बात है कि खुद कंगना अपने ताजा बयानों के कारण घिरी हुई हैं। उनका पद्मश्री सम्मान वापस लेने और उन्हें तत्काल गिरफ्तार करने की मांग कई पार्टियों ने की है। महाराष्ट्र कांग्रेस ने कहा है कि वह उनके खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराएगी। हालांकि इसमें संदेह नहीं कि कंगना ने जिस तरह से 1947 में देश को मिली आजादी को 'भीख' करार देते हुए हजारों स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदानों का अपमान किया, उसका किसी भी रूप में समर्थन नहीं किया जा सकता।
यह भी सच है कि एक बार ऐसा कहकर वह चुप नहीं हुईं, पिछले बयान को सही साबित करने की कोशिश में ऐसी बातें दोहराईं , जिन्हें कोई भी समझदार व्यक्ति बेतुका ही मानेगा। लेकिन बेतुकी बातें करना अपराध नहीं है। न ही सजा देकर किसी को समझदार बनाया जा सकता है। ठीक ऐसे ही वीर दास की बातें किसी को अच्छी तो किसी को बुरी लग सकती हैं। कुछ लोग उन बातों से सहमत होते हुए भी यह राय रख सकते हैं कि वे विदेशी धरती पर नहीं कही जानी चाहिए थीं। मगर ये अलग-अलग राय वीर दास के कार्य को अपराध नहीं बना देतीं।

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