सरकार ने किसानों को दिया बड़ा तोहफा, रेलवे को 4G स्पेक्ट्रम का आवंटन...आंदोलन पर कही ये बात
केंद्र की मोदी सरकार (Modi Government) ने किसानों को राहत देते हुए बड़ा फैसला लिया है
केंद्र की मोदी सरकार (Modi Government) ने किसानों को राहत देते हुए बड़ा फैसला लिया है. खरीफ फसलों पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) में बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी गई है. यह फैसला केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में लिया गया. कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने इसकी जानकारी देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) के नेतृत्व में लगातार कृषि के क्षेत्र में किसानों की आमदनी बढ़ाने और खेती को फायदे का सौदा बनाने के निर्णय लिए जा रहे हैं.
धान अब 1940 रुपये प्रति क्विंटल
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बताया कि धान की MSP में 72 रुपये की बढ़ोत्तरी की गई है. जिसके बाद 1868 रुपये प्रति क्विंटल से धान अब 1940 रुपये प्रति क्विंटल हो गया. इसके साथ ही, बाजरा पर एमएसपी बढ़ाकर 2150 रुपये प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 2250 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है. कृषि मंत्री ने कहा कि विगत 7 वर्षों में किसान के पक्ष में बड़े निर्णय हुए हैं ताकि किसानों की आमदनी बढ़ सके और उनमें खुशहाली आ सके.
बाजरा और दालों की MSP भी बढ़ी
कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कहा कि केंद्र सरकार दलहन और तिलहन का रकबा बढ़ाने पर काम कर रही है. कृषि उत्पादों के लिए आयत पर निर्भरता से मुक्त होने की दिशा में अग्रसर है. उन्होंने कहा कि धान का भाव अभी 1940 रुपये हो गया है यानी 72 रुपये प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी है. बाजरा का भाव 2250 का होगा 100 रूपये की वृद्धि हुई है, तुअर 6300 प्रति क्विंटल है यानी 62 परसेंट वृद्धि है. उड़द 6300 प्रति क्विंटल, जो कि 65 प्रतिशत वृद्धि है.
MSP को लेकर कोई भ्रम में न रहे
केंद्रीय मंत्री ने कहा, एमएसपी लगातार चालू है बल्कि बढ़ भी रही है किसी को कोई भ्रम रखने की जरुरत नहीं है. उन्होंने कहा पिछले दिनों सबकी चिंता थी कि DAP खाद इम्पोर्ट होती है अचानक अंतरराष्ट्रीय मूल्य बढ़ने के बाद सब्सिडी बढ़ाई गयी है जो कि पंद्रह हजार करोड़ रूपये का बोझ सरकार पर है.
सरकार किसानों के साथ
कृषि मंत्री ने कहा सरकार किसानों के साथ है, जो निर्णय हुए हैं वे अभूतपूर्व हैं. कृषि कानून लाने की हिम्मत किसी पार्टी की नहीं थी लेकिन मोदी सरकार लाई. सरकार किसानों का सम्मान करती है और इसलिए इग्यारह बार किसानों से वार्ता हुई. जब किसान चाहें भारत सरकार चर्चा के लिए तैयार है.