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'दशरथ मांझी' बन 250 महिलाओं ने पहाड़ काट बना दिया रास्ता...लगभग 18 महीने की मेहनत...पानी की किल्लत से जूझ रहा था गांव...पढ़ें पूरी खबर

Gulabi
27 Sep 2020 3:32 PM GMT
दशरथ मांझी बन 250 महिलाओं ने पहाड़ काट बना दिया रास्ता...लगभग 18 महीने की मेहनत...पानी की किल्लत से जूझ रहा था गांव...पढ़ें पूरी खबर
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बिहार के दशरथ मांझी की कहानी तो आपने बहुत सुनी होगी, जिन्होंने गया के करीब गहलौर गांव

बिहार के दशरथ मांझी की कहानी तो आपने बहुत सुनी होगी, जिन्होंने गया के करीब गहलौर गांव में एक हथौड़े और छेनी की मदद से पूरे पहाड़ को काटकर सड़क बना दी थी। कुछ इसी तरह का जज्बा मध्य प्रदेश के छतरपुर के एक गांव में रहने वाली महिलाओं ने दिखाया है।

छतरपुर जिले के अंगरोठा गांव की 250 महिलाओं ने पानी के लिए रास्ता बनाने के लिए एक पहाड़ को काट दिया। गांव लंबे समय से पानी की किल्लत से जूझ रहा था, जिसके बाद महिलाओं ने खुद ही हल निकालने की ठान ली।

गांव की रहने वालीं बबिता राजपूत ने बताया कि हम रास्ता बनाने के लिए 18 महीनों से लगातार काम कर रहे थे। जंगल वाले इलाके में पानी मौजूद था, लेकिन हमारे गांव तक नहीं आ पा रहा था। उन्होंने कहा, ''ऐसे में गांव की हम महिलाओं ने पहाड़ को काटने का फैसला किया, जिससे पानी को गांव के तालाब तक लाया जा सके।''

वहीं, एक अन्य महिला ने कहा, ''हम खुद के लिए ऐसा कर रहे हैं क्योंकि यहां पानी की कमी है। हम खेती करने में असमर्थ थे। हमारे गांव में लगभग 250 महिलाओं ने तालाब में पानी लाने के लिए एक रास्ता बनाया। इस काम को पूरा करने में हमें लगभग 18 महीने लगे।'

बिहार के लौंगी भुइंया ने बनाई थी पांच किलोमीटर लंबी नहर

वहीं, हाल ही में बिहार में ही दशरथ मांझी जैसा एक और मामला सामने आया था, जब गया के इमामगंज व बांकेबाजार प्रखंड की सीमा पर जंगल में बसे कोठीलवा गांव के लोगों की गरीबी दूर करने के लिए लौंगी भुइयां नामक एक शख्स ने पांच किलोमीटर लंबी नहर खोद डाली थी। 20 साल में उन्होंने पांच किलोमीटर लंबी, चार फीट चौड़ी व तीन फीट गहरी पईन की खुदाई कर डाली थी। इसके बाद, महिन्द्रा एंड महिन्द्रा के मालिक आंनद महिन्द्रा ने लौंगी भुइयां को ट्रैक्टर भेंट किया था।'दशरथ मांझी' बन 250 महिलाओं ने पहाड़ काट बना दिया रास्ता

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