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फोर्ब्स मैगज़ीन के मुताबिक अली की गिनती यूएई में सबसे अमीर शख्स के तौर पर होती है.
किसी ने शायद सच ही कहा है कि इंसान कई बार भगवान का रूप लेकर दूसरों की जान बचा लेता है. कुछ ऐसा ही मामला संयुक्त अरब अमीरात (UAE) में हुआ. केरल का एक शख्स पिछले करीब 10 साल से जेल में बंद था. उसे मौत की सज़ा मिली थी. लेकिन यहां एक NRI बिजनेसमैन यूसुफ अली ने पीड़ित परिवार को 1 करोड़ रुपये का मुआवज़ा देकर उसकी जान बचा ली. केरल के त्रिशूर के रहने वाले बेक्स कृष्णन को अब नई जिंदगी मिल गई है.
ये घटना साल 2012 की है. कृष्णन ने यूएई में कार चलाते हुए एक शख्स को टक्कर मार दी. सूडान के रहने वाले इस लड़के की मौत हो गई. सीसीटीवी फुटेज और गवाहों से ये साबित हो गया कि कृष्णन ने लापरवाही से गाड़ी चलाई. इसके बाद यूएई की सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें मौत की सज़ा सुना दी.
मौत की सज़ा
कृष्णन को जेल से छुड़ाने और मौत की सज़ा को माफ कराने के लिए उनके परिवारवालों और दोस्तों ने पूरी कोशिश की, लेकिन कामयाबी नहीं मिली. दरअसल जिस लड़के की मौत हुई थी उसका पूरा परिवार सूडान वापस लौट गया था.
यूसुफ अली से मांगी मदद
आखिरकार परिवारवालों ने लूलू ग्रुप के चेयरमैन यूसुफ अली से मदद मांगी. उन्होंने परिवार को मदद का पूरा भरोसा दिया. पीड़ित के परिवार को उन्होंने सूडान से सीधे अबू धाबी बुला लिया. यहां उन्हें एक महीने तक समझाया गया. उनसे हर मुद्दे पर बातचीत की गई. बाद में ये परिवार एक करोड़ रुपये का मुआवाजा लेने के बाद कृष्णन को माफ करने के लिए तैयार हुआ. ये सारे पैसे यूसुफ ने दिए.
'ये मेरा दूसरा जन्म'
यूएई में सारी कानूनी प्रक्रिया पूरी कर ली गई है. अब जल्द ही कृष्णन को जेल से रिहा कर दिया जाएगा. उन्होंने भावुक होकर कहा कि उन्हें अब नई ज़िंदगी मिल गई है. उधर यूसुफ ने अल्लाह का शुक्रिया अदा किया.
बता दें कि त्रिशूर में पैदा हुए 65 साल के यूसुफ अली का मध्य पूर्व में बड़ा बिजनेस है. अबू धाबी में लुलु ग्रुप का हाइपरमार्केट और शॉपिंग मॉल है. फोर्ब्स मैगज़ीन के मुताबिक अली की गिनती यूएई में सबसे अमीर शख्स के तौर पर होती है.
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