जनता से रिश्ता वेबडेस्क| साल 2020 के नोबेल शांति पुरस्कार का ऐलान कर दिया गया है. इस बार ये किसी व्यक्ति नहीं बल्कि एक संस्था को मिला है. इस बार ये सम्मान वर्ल्ड फूड प्रोग्राम (World Food Programme) संगठन को दिया गया है. कोरोना वायरस संकट, सैन्य संकट और अन्य मुश्किल वक्त के बीच दुनिया में बड़े पैमाने पर जरूरतमंदों को खाना खिलाने और मदद करने के लिए ये चयन किया गया है.
नॉर्वेयिन नोबेल कमेटी की ओर से शुक्रवार को इसका ऐलान किया गया. संयुक्त राष्ट्र के ही संगठन वर्ल्ड फूड प्रोग्राम को दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में भूखों को खाना खिलाने, जहां पर सबसे अधिक तनाव की स्थिति है ऐसी जगह पर मदद पहुंचाने के लिए ये सम्मान दिया गया है.
नोबेल कमेटी द्वारा साझा जानकारी के मुताबिक, वर्ल्ड फूड प्रोग्राम दुनिया के सबसे बड़ी संस्था है जो कि खाने की मदद देती है. साल 2019 में WFP ने 88 देशों के 100 मिलियन लोगों को खाना मुहैया कराया. साल 2015 में संयुक्त राष्ट्र ने सभी को खाना खिलाने के लिए एक नया मिशन माना था. आंकड़ों के मुताबिक, 2019 में करीब 135 मिलियन लोग भूख के दुख से गुजरे जिनके पीछे युद्ध और सैन्य संकट जैसे कारण हैं.
कोरोना वायरस संकट के कारण ऐसे मामले अधिक बढ़े हैं. जबकि यमन, कोंगो, नाइजीरिया, सूडान समेत अन्य देशों में गृह युद्ध की वजह से खाना मिलना मुश्किल रहा. जबतक वैक्सीन नहीं आ जाती है, भोजन और इलाज ही सबसे बड़ी वैक्सीन है. ऐसे संकट के वक्त में इस ओर काम करने वाली संस्थाओं का सम्मान और मदद जरूरी है.
Norwegian Nobel Committee ने अपने बयान में कहा कि ऐसी संस्था को अवॉर्ड मिलने से सभी देशों का ध्यान इस ओर जाएगा और लोगों को मदद मिल सकेगी. संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों को इस ओर तेजी से काम करने की जरूरत है. जो इस वक्त दुनिया के लिए सबसे जरूरी है.