विश्व
जिसका डर था वो हो गया! विश्व पर मंडरा रहे युद्ध के बादल, पूरी दुनिया में मची हलचल
jantaserishta.com
22 Feb 2022 3:18 AM GMT
x
वॉशिंगटन: यूक्रेन के साथ युद्ध जैसे हालात के बीच पूर्वी यूक्रेन के डोनेत्स्क (Donetsk) और लुहांस्क (Luhansk) को अलग देश के रूप में मान्यता देना रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) के लिए परेशानी बन सकता है. पुतिन भले ही इसे मास्टरस्ट्रोक समझ रहे हों, लेकिन इस फैसले पर जिस तरह की प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं, उससे साफ है कि रूस को इसकी भारी कीमत चुकानी पड़ सकती है.
जेलेंस्की की दो टूक- हम नहीं डरते
रूस के ताजा ऐलान के बाद यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर जेलेंस्की की भी प्रतिक्रिया आई है. जेलेंस्की ने कहा कि विद्रोहियों को मान्यता देने के रूस के फैसले से उनको किसी तरह का डर नहीं है. उन्होंने उम्मीद जताई कि यूक्रेन की सरकार को पश्चिम देशों से पूरा समर्थन मिलेगा. वहीं, रूस के इस कदम की यूरोपीय संघ, NATO के साथ ही अमेरिका और कई अन्य देशों ने निंदा की है.
अमेरिका ने उठाया ये कड़ा कदम
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने इस मुद्दे पट अपने फ्रांसीसी समकक्ष इमैनुएल मैक्रों और जर्मन चांसलर से फोन पर बात की है. समाचार एजेंसी AFP के मुताबिक, तीनों नेता इस बात पर सहमत हुए हैं कि रूस के इस कदम का जवाब दिया जाना चाहिए. अमेरिकी राष्ट्रपति ने एक आदेश पर भी हस्ताक्षर किया है, जिसके जरिए यूक्रेन के तथाकथित डीपीआर (Donetsk) और एलपीआर (Lugansk) क्षेत्र में अमेरिकी नागरिकों के निवेश और व्यापार को प्रतिबंधित किया गया है
UK लगाएगा बैन, एस्टोनिया भी नाराज
वहीं, ब्रिटेन ने रूस पर प्रतिबंध लगाने की बात कही है. UK की तरफ से कहा गया है कि आज यानी मंगलवार को सरकार की तरफ से रूस पर कुछ नए प्रतिबंधों की घोषणा हो सकती है. रूस के ताजा कदम को यूके ने अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन माना है और इसे यूक्रेन की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता पर हमला बताया गया है. इसी तरह, एस्टोनिया की प्रधानमंत्री काजा कल्लास ने भी रूसी फैसले की निंदा करते हुए उसे यूक्रेन की अखंडता का उल्लंघन बताया है. एस्टोनिया की प्रधानमंत्री ने कहा है कि रूस कूटनीतिक दरवाजे बंद कर युद्ध के लिए बहाने तलाश रहा है.
यूरोपीय संघ-आयोग ने जारी किया बयान
यूरोपीय संघ के अध्यक्ष चार्ल्स मिशेल (Charles Michel) और यूरोपीय आयोग के प्रेसिडेंट उर्सुला वॉन डर लेयेन (Ursula von der Leyen) ने संयुक्त बयान जारी कर रूस की निंदा की है. यूरोपीय संघ और यूरोपीय आयोग के प्रमुखों की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि रूस का यह कदम अंतरराष्ट्रीय कानून के साथ ही मिन्स्क समझौते का भी उल्लंघन है. यूरोपीय संघ ने इसके जवाब में प्रतिबंध लगाने की बात कही है.
NATO ने बताया समझौते का उल्लंघन
नाटो के सेक्रेटरी जनरल जेंस स्टॉल्टेनबर्ग ने रूस के इस कदम की निंदा करते हुए कहा है कि इससे यूक्रेन की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता कमजोर होगी और संघर्ष के समाधान की दिशा में चल रहे प्रयासों को झटका लगेगा. उन्होंने कहा कि ये मिंस्क समझौते का उल्लंघन भी है. 2015 में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने यूक्रेन की संप्रभुता, स्वतंत्रता और क्षेत्रीय अखंडता के सम्मान की पुष्टि की थी, जिसमें रूस भी शामिल था. डोनेत्स्क और लुहांस्क, यूक्रेन का हिस्सा हैं.
jantaserishta.com
Next Story