विश्व

VIDEO BREAKING: अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद व्हाइट हाउस के बाहर नारे- बाइडेन आपने धोखा दिया

jantaserishta.com
16 Aug 2021 5:00 AM GMT
VIDEO BREAKING: अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद व्हाइट हाउस के बाहर नारे- बाइडेन आपने धोखा दिया
x

तालिबान ने कल देर रात अफगानिस्तान की राजधानी काबुल पर कब्जा कर लिया. आज अमेरिका में वाइट हाउस के सामने हालात को लेकर प्रदर्शन किया जा रहा है जिसमें लोग मांग कर रहे हैं कि स्थिति को दोबारा पहले की तरह न होने दिया जाए.






अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे और देश में मचे हाहाकार के बाद अब अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन की रणनीति पर सवाल उठने लगे हैं। दुनिया भर के नेताओं से लेकर उनके अपने ही देश में अब निशाना साधा जा रहा है। बिना किसी प्लानिंग के अफगानिस्तान से आनन-फानन में अमेरिकी सेनाओं को वापस बुलाने के फैसले पर गुस्सा देखने को मिल रहा है। रविवार को सीएनएन के न्यूज एंकर जेकटैपर ने अमेरिकी विदेश मंत्री से पूछा, 'आखिर राष्ट्रपति ने इतना गलत फैसला ले कैसे लिया?' इससे पता चलता है कि राष्ट्रपति जो बाइडेन के फैसले से अमेरिका में ही कितना गुस्सा है।
अफगानिस्तान के राष्ट्रपति भवन में तालिबानी लड़ाकों की एंट्री की तस्वीरें सामने आने के बाद से बाइडेन के समर्थक और आलोचक दोनों ही उन पर सवाल उठा रहे हैं। सीएनएन के ही प्रोग्राम में अमेरिकी संसद की विदेश मामलों की समिति के सदस्य रिपब्लिकन सांसद माइकल मैककॉल ने कहा, 'अफगानिस्तान में मचा उपद्रव प्रेसिंडेंट और प्रेसिडेंसी पर धब्बा है।' उन्होंने कहा कि जो बाइडेन ने अफगानिस्तान को लेकर जो किया है, उससे उनके हाथ खून से रंग गए हैं। बराक ओबामा के दौर में अफगानिस्तान के राजदूतत रहे रयान क्रॉकर ने कहा कि मेरे दिमाग में जो बाइडेन की लीडरशिप को लेकर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।
क्रॉकर ने कहा, 'मेरे दिमाग में गंभीर सवाल उठ रहे हैं कि आखिर यह शख्स कैसे कमांडर-इन-चीफ के तौर पर हमारे देश का नेतृत्व कर सकता है।' हाल ही में पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भी अफगानिस्तान के हालातों को लेकर जो बाइडेन पर तंज कसते हुए कहा था, 'क्या आप लोग मुझे मिस कर रहे हैं?' अमेरिका में जो बाइडेन के खिलाफ गुस्से का आलम यह है कि आने वाले कुछ दिनों में वह राष्ट्र के नाम संबोधन कर सकते हैं। सवाल इस बात को लेकर भी उठ रहे हैं कि आखिर इस संकट के वक्त में राष्ट्रपति कहां हैं। वाइट हाउस की ओर से इस बीच एक तस्वीर जारी हुई है, जिसमें वह कैजुअल ड्रेस में ही अकेले बैठे दिख रहे हैं और नेशनल सिक्योरिटी टीम के साथ वर्चुअल मीटिंग कर रहे हैं।
वाइट हाउस ने ट्विटर पर लिखा, 'आज सुबह राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति ने नेशनल सिक्योरिटी टीम और सीनियर अफसरों से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने अफगानिस्तान से नागरिकों को निकाले जाने की समीक्षा की। वहां से स्पेशल इमिग्रेशन वीजा पर भी लोगों को लाया जा रहा है। इसके अलावा अफगानिस्तान में अमेरिका को सहयोग करने वाले लोगों को भी निकाला जा रहा है। इस मीटिंग के दौरान काबुल में सुरक्षा के हालातों का जायजा लिया गया।'
भारत के लिहाज से भी देखें तो जो बाइडेन की नीति चिंताओं को बढ़ाने वाली है। अफगानिस्तान में तालिबान राज के साथ ही पड़ोसी मुल्क में भारत का प्रभाव कम होता दिख रहा है। एक तरफ पाकिस्तान और चीन तालिबान के करीब जा रहे हैं तो लोकतांत्रिक सरकार का समर्थन करने वाले भारत की चिंताएं बढ़ गई हैं। यही नहीं अफगानिस्तान में तालिबान राज से यदि वैश्विक आतंकवाद बढ़ता है तो उससे भारत भी खतरे में होगा। खासतौर पर कश्मीर में चिंताएं बढ़ सकती हैं।


Next Story