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इसी कड़ी में एक साथ साथ साथ कई मोर्चे पर काम हो रहा है.
सऊदी अरब ने ऐलान किया कि उसने विदेशी छात्रों के लिए अपने सख्त वीजा नियमों में ढील दी है. इस सिलसिले में सऊदी किंगडम ने लंबी और छोटी अवधि के शैक्षिक वीजा (Educational Visa) की शुरुआत की है. इस नए शैक्षिक वीजा के जरिए देश में उच्च शिक्षा के लिए दुनियाभर के पुरुष और महिला छात्रों, शोधकर्ताओं और शिक्षाविदों को बुलाने का लक्ष्य रखा गया है.
मिनिस्टर काउंसिल का ऐलान
सऊदी अरब प्रशासन ने नए लॉन्ग टर्म और शॉर्ट टर्म एजुकेशनल वीजा का ऐलान करते हुए कहा कि अब छात्रों, एक्सपर्ट और रिसर्च करने वालों को एकेडमिक स्टडी के लिए लॉन्ग टर्म वीजा दिया जाएगा. इसी संदर्भ में सऊदी किंगडम से संबंधित विश्वविद्यालयों में नामांकन की प्रक्रियाओं को अब आसान और सुविधाजनक बनाया जा रहा है. छात्रों और रिसर्चर्स को भाषा संबंधी दिक्कतों का सामना न करना पड़े, इसके लिए खास इंतजाम किए जाएंगे. नए वीजा कार्यक्रम के तहत आने वाले छात्रों के लिए लैंग्वेज स्टडी और ट्रेनिंग संबंधी कार्यक्रमों का रेगुलर आयोजन होगा. माना जा रहा है कि शिक्षा के क्षेत्र में काम करने वाले लोगों को इससे काफी फायदा मिलेगा.
सभी को होगा फायदा
अरब न्यूज़ में प्रकाशित एक रिपोर्ट के मुताबिक शूरा काउंसिल के सदस्य डॉ. सुल्ताना अल-बदावी ने इस फैसले को एक बड़ी उपलब्धि बताया है. माना जा रहा है कि किंगडम के इस फैसले का देश की इकॉनमी पर दूरगामी और सकारात्मक असर पड़ेगा. इस नए वीजा पर पढ़ाई करने वाले छात्रों को अरब वर्ल्ड की शानदार नौकरियों में हिस्सा लेने का असवर मुहैया कराया जाएगा.
अभी तक इस तरह के वीजा का फायदा लेने के लिए दुनियाभर के स्टूडेंट कनाडा और अमेरिका जैसे देशों का रुख करते थे. दरअसल सऊदी के शाषक अपने देश की तेल आधारित अर्थव्यवस्था को नए सेक्टर्स के पिलर पर शिफ्ट करना चाहते हैं इसी कड़ी में एक साथ साथ साथ कई मोर्चे पर काम हो रहा है.
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