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अमेरिका में टिकटॉक बैन? नीतियों का उल्लंघन करने का लगाया आरोप

Neha Dani
30 Jun 2022 7:56 AM GMT
अमेरिका में टिकटॉक बैन? नीतियों का उल्लंघन करने का लगाया आरोप
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कि चीन में इंजीनियरों के पास सितंबर 2021 और जनवरी 2022 के बीच अमेरिकी डेटा तक पहुंच थी.

शॉर्ट वीडियो प्लेटफॉर्म टिकटॉक (TikTok) पूरी दुनिया में फेमस है और रोज कामयाबी की नई-नई ऊंचाइयां छू रहा है, लेकिन कुछ कमियों की वजह से कई देशों में इसका विरोध भी खूब होता है. विरोध की वजह से कई देश की सरकार इस पर प्रतिबंध भी लगा चुकी है. भारत में भी यह ऐप बैन है, अब खबर है कि अमेरिका में भी इसे प्रतिबंधित करने की मांग उठ रही है. यूएस फेडरल कम्युनिकेशंस कमिशन (USFCC) के एक नेता ने चीन से संबंधित डेटा सुरक्षा चिंताओं की वजह से ऐप्पल और गूगल से इस ऐप को अपने ऐप स्टोर से हटाने को कहा है.

नीतियों का उल्लंघन करने का लगाया आरोप
बता दें कि अमेरिका में भी लगातार पॉपुलर हो रहे टिकटॉक का मालिकाना हक चीनी कंपनी बाइटडांस के पास है. जब डोनाल्ड ट्रम्प अमेरिका के राष्ट्रपति थे, तब इस कंपनी को अमेरिकी जांच का सामना करना पड़ा था. FCC के आयुक्तों में से एक, ब्रेंडन कैर ने ट्विटर के माध्यम से Apple के सीईओ टिम कुक और अल्फाबेट के सीईओ सुंदर पिचाई के साथ एक लेटर साझा किया. इस लेटर में उन रिपोर्टों और अन्य घटनाक्रमों की ओर इशारा किया गया है, जिसमें टिकटॉक ने इन दोनों कंपनियों की ऐप स्टोर नीतियों का उल्लंघन किया है.

लेटर में कहा- टिकटॉक करता है जासूसी
उन्होंने अपने लेटर में लिखा है, "टिकटॉक वह नहीं है जो हकीकत में दिखता है. यह केवल मजेदार वीडियो या मीम साझा करने वाला ऐप नहीं है. टिकटॉक एक स्पाई के रूप में काम करता है और यूजर्स के व्यक्तिगत और संवेदनशील डेटा को भी चुराता है." हालांकि अभी अल्फाबेट और ऐप्पल ने टिकटॉक को लेकर सीएनबीसी के अनुरोधों का तुरंत कोई जवाब नहीं दिया है. एफसीसी लेटरहेड पर 24 जून को लिखे गए कैर के इस लेटर में कहा गया है कि अगर ऐप्पल और अल्फाबेट अपने ऐप स्टोर से टिकटॉक को नहीं हटाते हैं, तो उन्हें 8 जुलाई तक इस पर बयान देना होगा और अपनी व टिकटॉक की पॉलिसी के बारे में में भी बताना होगा.

एक न्यूज रिपोर्ट का दिया हवाला
कैर ने अपने इस लेटर में महीने की शुरुआत में बज़फीड न्यूज की रिपोर्ट का हवाला दिया है. उस न्यूज में कहा गया था कि टिकटॉक कर्मचारी के बयानों की रिकॉर्डिंग से संकेत मिलता है कि चीन में इंजीनियरों के पास सितंबर 2021 और जनवरी 2022 के बीच अमेरिकी डेटा तक पहुंच थी.


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