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बड़े पैमाने पर लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया था, जिसके बाद वे देश छोड़कर फरार हो गए।
श्रीलंका में पिछले महीने सरकार विरोधी प्रदर्शनों के दौरान राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे के निजी आवास में कथित तौर पर आग लगाने के आरोप में मंगलवार को तीन और युवकों को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तारियों की कुल संख्या बढ़कर अब सात हो गई है।
डेली मिरर अखबार ने बताया कि आपराधिक जांच विभाग ने सोमवार को पिलियांदला और नरहेंपीता इलाकों से 18 से 22 साल के बीच के तीन संदिग्ध युवकों को गिरफ्तार किया।
जुलाई में चार संदिग्ध गिरफ्तार
रिपोर्ट में कहा गया है कि पिछले महीने श्रीलंकाई पुलिस ने इस घटना के सिलसिले में चार संदिग्धों को गिरफ्तार किया था और कोलंबो फोर्ट मजिस्ट्रेट कोर्ट के निर्देशों के आधार पर उन्हें 10 अगस्त तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था।
प्रदर्शनाकरियों ने 9 जुलाई को विक्रमसिंघे के आवास में लगाई आग
गौरतलब है कि श्रीलंका में जारी आर्थिक संकट के खिलाफ लोग पिछले महीने सड़क पर उतर आए थे और सरकार के खिलाफ जमकर विरोध प्रदर्शन किया था। इसी दौरान 9 जुलाई को प्रदर्शनकारियों ने कैम्ब्रिज प्लेस में विक्रमसिंघे के निजी आवास में आग लगा दी। इस आग से विक्रमसिंघे का 125 वर्षीय पियानो जलकर नष्ट हो गया। इसके अलावा, चार हजार से अधिक किताबें भी जल गईं।
सदियों पुरानी किताबें जलकर खाक
विक्रमसिंघे ने पिछले महीने कहा था, 'मैंने 4,000 से अधिक किताबें खो दी हैं, जिनमें कुछ सदियों पुरानी हैं।उन्होंने बताया कि आग में 125 साल पुराना पियानो भी जल गया।
10 जुलाई को जारी एक वीडियो में विक्रमसिंघे के जले हुए आवास और एक क्षतिग्रस्त सेडान सहित अन्य के गंभीर दृश्य दिखाई दे रहे हैं। पेंटिंग और कलाकृतियां भी पूरे घर और परिसर में बिखरी हुई देखी गईं हैं।
विक्रमसिंघे को चुना गया श्रीलंका का आठवां राष्ट्रपति
विक्रमसिंघे को पिछले महीने श्रीलंका का आठवां राष्ट्रपति चुना गया था। इससे पहले देश की अर्थव्यवस्था के घोर कुप्रबंधन को लेकर उनके पूर्ववर्ती गोटबाया राजपक्षे और उनके परिवार के खिलाफ बड़े पैमाने पर लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया था, जिसके बाद वे देश छोड़कर फरार हो गए।
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