कोरोना के बाद लगातार बुखार आ रहा था महिला को, जांच में निकली कैंसर से ग्रसित
कोरोना होने के बाद भी कई लोगों ने लंबे समय तक बुखार को झेला. कई दिनों तक कोविड का असर उनमें देखने को मिला. एक केस में तो ऐसा भी हुआ जहां महिला की कई जांचें हुईं, जिसके बाद पता चला कि वह एक प्रकार के कैंसर से ग्रस्त हैं. सिनैड हडसन 30 साल की हैं, वह ब्रिटेन की रहने वाली हैं. उनको लगातार बुखार आ रहा था. इसके बाद उन्होंने अपनी कोविड जांच करवाई, जहां उनकी जांच रिपोर्ट 2 जनवरी को पॉजिटिव आई. रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने कोरोना के बाद होने वाली दिक्कतों को लंबे समय तक झेला.
लॉन्ग कोविड के दौरान एक और चौंकाने वाली जानकारी सामने आई कि वह ल्यूकेमिया (Leukaemia) नाम की बीमारी से ग्रस्त हैं. यह एक जानलेवा बीमारी है. जो एक तरह का कैंसर है. जब उन्होंने इस बारे में सुना तो वह हिल गईं. 'द सन' की एक रिपोर्ट के मुताबिक, सिनैड हडसन को जब तक कोविड नहीं हुआ था. वह पूरी तरह फिट थीं. वह इबिजा (Ibiza) नाम की जगह पर अपने पति रॉब के साथ छुट्टियां मना रही थीं. इस दौरान उन्होंने अपनी जांच करवाई जहां उनकी COVID रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई.
सिनैड ने बताया, 'मेरी तबीयत काफी खराब हो गई थी, मैं काफी कमजोर हो गई थी, और खुद को काफी थका हुआ महसूस कर रही थी. लेकिन मेरे पति को इस तरह की दिक्कत नहीं थी. मुझे लगातार कफ आ रहा था, बुखार भी बहुत भयंकर था, ये करीब दो सप्ताह तक मुझे रहा'.हालांकि, कुछ दिनों के बाद सिनैड की कोविड जांच रिपोर्ट निगेटिव आ गई लेकिन, उनकी तबीयत खराब बनी रही. बकौल सिनैड, ' मैं लगातार पेरासिटामोल ले रही थी, ताकि मेरा बुखार कम हो जाये, लेकिन जैसे ही दवा का असर कम होता था तो बुखार फिर बढ़ जाता.'
जनवरी के मध्य तक उनकी तबीयत और खराब हो गई. रात का डिनर करने के बाद वह और बीमार पड़ गईं. सिनैड को लगा कि उनको कोरोना के ही लक्षण होंगे. लेकिन 21 जनवरी की सुबह जब वह उठीं तो उनको तेज बुखार था. इसके बाद उनके पति ने उनको इबिजा में मौजूद अस्पताल में भर्ती करवाया, जहां उनके कई टेस्ट किए गए. सिनैड ने बताया, ' मुझे लगा कि ये कोई इंफेक्शन होगा या लॉन्ग कोविड, इसलिए मैंने एंटीबायोटिक्स की मांग की ताकि मैं घर जा सकूं, लेकिन वहां मौजूद डॉक्टरों ने कहा कि वह जानना चाहते हैं आखिर इंफेक्शन की वजह क्या है.'
चार दिनों के बाद डॉक्टरों ने बोनमैरो बायोप्सी की क्योंकि बुखार की वजह समझ में नहीं आ रही थी. करीब दो घंटों के बाद डॉक्टर ने बतया कि आप एक्यूट लेकेमिया से ग्रस्त हैं. इसके बाद सिनैड ने फ्लाइट बुक की और वह ब्रिटेन में मौजूद रॉयल बर्किशायर हॉस्पिटल पहुंच गई. जहां उनकी कीमोथेरेपी शुरू हो गई है, हालांकि वह अपने पति से नहीं मिल पाईं हैं क्योंकि वह आइसोलेशन में हैं. जब सिनैड को पता चला कि वह Acute lymphoblastic leukaemia से ग्रस्त हैं तो एक बात और सामने आई कि उनका एक कजन भी 10 साल पहले ऐसी ही एक समस्या से ग्रस्त था. ये काफी दुर्लभ है. ब्रिटेन में 790 केस हर साल इस बीमारी के सामने आते हैं, लेकिन लेकेमिया बच्चों में होना ज्यादा सामान्य है. इस बीमारी में बोन मैरो व्हाइट ब्लड सेल्स को रिलीज करते हैं. जिससे जो भी मरीज होता है, वह इंफेक्शन का आसानी से शिकार हो जाता है.