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यूनिवर्सिटी ने छात्रों के फैंसी कपड़ों को किया बैन, कहा- सभ्य कपडे ही पहनकर आए

Neha Dani
6 March 2021 10:54 AM GMT
यूनिवर्सिटी ने छात्रों के फैंसी कपड़ों को किया बैन, कहा- सभ्य कपडे ही पहनकर आए
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सांस्कृतिक और धार्मिक शिक्षा देने जैसे नियमों को अंतिम रूप दिया है.

पाकिस्तान (Pakistan) में पेशावर यूनिवर्सिटी (Peshawar University) द्वारा लाए गए एक नए ड्रेस कोड (Dress Code) ने विवादों को हवा दे ही है. पेशावर यूनिवर्सिटी ने कहा है कि वह नहीं चाहती है कि उसके छात्र फैंसी कपड़ों को पहनकर पढ़ने आएं. एक नोटिफिकेशन में यूनिवर्सिटी ने छात्रों को निर्देश दिया है कि वे नए ड्रेस कोड का पालन करें और अपने आईडी कार्ड को हर वक्त पहने रहें. गौरतलब है कि पाकिस्तान में हाल के दिनों में कई यूनिवर्सिटिज ने अपने छात्रों के लिए ड्रेस कोड को जारी किया है. इनमें छात्रों से पश्चिमी पोशाकों को नहीं पहनने को कहा गया है.

छात्रों के ड्रेस कोड को लेकर पेशावर यूनिवर्सिटी ने दो नोटिफिकेशन जारी की है. इसमें पहली नोटिफिकेशन में कहा गया कि महिला छात्र अपनी पसंद के रंग की कमीज को सफेद सलवार के साथ पहनें. अगर वे चाहें तो सफेद कमीज-सलवार भी पहन सकती हैं. साथ ही उन्हें चेस्ट आईडी कार्ड भी पहनना होगा. वहीं, पुरुष छात्रों से कहा गया है कि वे सभ्य तरीके के कपड़ों को पहनकर यूनिवर्सिटी में पढ़ने के लिए आएं. महिला छात्रों की तरह पुरुष छात्रों का भी चेस्ट आईडी कार्ड लगाना अनिवार्य होगा. भले ही यूनिवर्सिटी ने नोटिफिकेशन में पश्चिमी पोशाक को लेकर कुछ नहीं कहा हो, लेकिन उसका इशारा इसी ओर है.

महिलाओं के लिए जारी किया गया एक और नोटिफिकेशन
वहीं, यूनिवर्सिटी द्वारा जारी की गई एक अन्य नोटिफिकेशन को केवल महिला छात्रों के लिए जारी किया है. इसमें महिला छात्रों के लिए बनाए गए ड्रेस कोड में कुछ चीजों को शामिल करते हुए कहा गया कि सभी महिला छात्रों को सलवार-कमीज के साथ, सफेद स्कार्फ/दुपट्टा और चेस्ट आईडी कार्ड पहनना होगा. इस संबंध में यूनिवर्सिटी के प्रवक्ता ने कहा, ड्रेस कोड से अभिभावकों पर आर्थिक बोझ कम होगा. हालांकि, अब ये देखना होगा कि क्या पाकिस्तानी छात्रा इसका विरोध करते हैं या नहीं.

तो ड्रेस कोड लागू करने के पीछे ये है मंशा
हालांकि, इस ड्रेस कोड को लागू करने के पीछे राजनीतिक मंशा भी है. दरअसल, इस ड्रेस कोड को लागू कर खैबर पख्तूनख्वा के गवर्नर शाह फरमान को खुश करने का प्रयास किया गया है. शाह फरमान सार्वजनिक क्षेत्र की यूनिवर्सिटिज के चांसलर हैं. वह सभी यूनिवर्सिटिज में, विशेषकर महिला छात्रों के लिए ड्रेस कोड शुरू करने में गहरी दिलचस्पी दिखा रहे हैं. गौरतलब है कि पाकिस्तान भर में कई यूनिवर्सिटिज ने ड्रेस कोड को लागू किया है. इसे लेकर उनकी आलोचना भी की गई है.

पहले भी यूनिवर्सिटिज ने बनाया है ड्रेस कोड
इससे पहले, खैबरपख्तूनख्वा प्रांत (Khyber Pakhtunkhwa Province) के चारसादा में स्थित बाचा खान विश्वविद्यालय ने ड्रेस कोड को लेकर एक सर्कुलर जारी किया. इसमें महिला शिक्षकों और छात्राओं के टाइट जींस पहनने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है. साथ ही कहा है कि महिलाओं को विश्वविद्यालय कैंपस में अनिवार्य रूप से स्कार्फ यानी अबाया या हिजाब पहनना होगा. दूसरी ओर, लड़कों के लिए नीली और काले रंग की पैंट, कोट और जैकेट, शॉर्ट, कटऑफ जीन्स, टाइट जींस, स्पोर्ट्स शूज, जींस और हाथों में बैंड प्रतिबंधित कर दिया. बताया गया कि अकैडमिक काउंसिल ने नए ड्रेस कोड, सांस्कृतिक और धार्मिक शिक्षा देने जैसे नियमों को अंतिम रूप दिया है.


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