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इमरान सरकार के गलत फैसलों से 'आटा संकट' में फंसा देश, अब रोटियों के लिए करनी होगी जद्दोजहद

Gulabi
29 April 2021 8:06 AM GMT
इमरान सरकार के गलत फैसलों से आटा संकट में फंसा देश, अब रोटियों के लिए करनी होगी जद्दोजहद
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पाकिस्तान में महंगाई और बेरोजगारी से जनता बेहाल है कि

पाकिस्तान (Pakistan) में महंगाई और बेरोजगारी (Inflation and Unemployment) से जनता बेहाल है कि अब उसके ऊपर एक और संकट आ खड़ा हुआ है. पड़ोसी मुल्क में आटे की कमी होने लगी है और जल्द ही देश 'आटा संकट' (Flour Crisis) में फंस जाएगा. बढ़ती महंगाई के चलते पहले से ही इमरान खान (Imran Khan) की सरकार विपक्ष के निशाने पर है. दूसरी ओर, देश में 'आटा संकट' मंडराने पर इमरान पर चौतरफा दबाव बढ़ जाएगा. गौरतलब है कि कोरोना की वजह से पहले से ही पाकिस्तानी अर्थव्यवस्था का बेड़ा गर्क है.


पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (PPP) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो-जरदारी (Bilawal Bhutto-Zardari) ने चेतावनी दी है कि देश एक और आटा संकट की ओर बढ़ रहा है क्योंकि देश में केवल 20 दिन से कम गेहूं का स्टॉक उपलब्ध है. बुधवार को PPP के मीडिया ऑफिस द्वारा जारी किए गए एक बयान में बिलावल ने 40 किलो गेहूं की कीमत 1800 रुपये तय करने पर इमरान सरकार की जमकर आलोचना की. बिलावल ने इमरान सरकार पर आरोप लगाया कि ये झूठे दावे कर रही है कि इसने सब्सिडी की कीमत को 400 फीसदी तक बढ़ा दिया है.

किसानों के उत्पीड़न के लिए इमरान जिम्मेदार
बिलावल ने दावा किया कि यह वृद्धि केवल 28 प्रतिशत थी, क्योंकि सरकार ने खरीद मूल्य को 1400 से बढ़ाकर 1800 रुपये कर दिया. उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी सिंध में किसानों का उत्पीड़न नहीं होने देगी और प्रांत में 40 किलो गेहूं का राहत मूल्य 2000 रुपये किया जाएगा. PPP के अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि देश के इतिहास में आज पहली बार गेहूं का समर्थन मूल्य सभी प्रांतों में एक बराबर नहीं है. इमरान खान पंजाब, खैबर पख्तूनख्वा और बलूचिस्तान के किसानों के इस उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार हैं.

इमरान सरकार की खराब योजनाओं के चलते पैदा हुआ 'आटा संकट'
PPP के अध्यक्ष ने खाद, बीज, कीटनाशक, कृषि मशीनरी और बिजली की कीमतों को भी कम करने पर जोर दिया. जिनकी कीमतों में 150 फीसदी तक इजाफा किया गया है. इस बात को याद दिलाते हुए कि सरकार ने तीन सालों में दो बार आटा संकट खड़ा किया है. बिलावल ने कहा कि ये इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) सरकार की खराब योजनाओं का ही नतीजा है कि आज देश में केवल दो से ढाई सप्ताह का गेहूं स्टॉक उपलब्ध है. उन्होंने कहा, अगर संकट से निपटा नहीं गया तो देश को एक बार फिर से आटे की कमी का सामना करना पड़ सकता है.

बाहर से गेहूं आयात करने पर मजबूर पाकिस्तान
पाकिस्तानी अखबार डॉन के मुताबिक, बिलावल ने अफसोस जताया कि गेहूं उत्पादक देश के रूप में जाना जाने वाला पाकिस्तान अब गेहूं आयात कर रहा है. उन्होंने कहा कि ये पाकिस्तानी राजनेताओं के दुर्भाग्य की वजह से है, जिन्हें एग्रीक्लचर का 'ए' भी नहीं मालूम है. इसी बीच, एक अलग बयान में PPP के संसदीय नेता शैरी रहमान ने पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइन (PIA) को दो कंपनियों में विभाजित करने की योजना को लेकर चिंता जाहिर की.


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