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इटली के बिशप ने बच्चों से कहा- सांता क्लॉज मौजूद नहीं है, बयान के बाद मचा बवाल तो मांगी माफी

Neha Dani
12 Dec 2021 6:35 AM GMT
इटली के बिशप ने बच्चों से कहा- सांता क्लॉज मौजूद नहीं है, बयान के बाद मचा बवाल तो मांगी माफी
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परिवारों, बच्चों और पारिवारिक शिक्षा की बात आती है, तो आपको एक भी बात समझ में नहीं आती है.’

इटली में एक कैथोलिप बिशप (Catholic Bishop) ने बच्चों को कहा कि सांता क्लॉज (Santa Claus) जैसी कोई चीज नहीं होती है और उसका लाल कोट कोका-कोला के विज्ञापन के लिए चुना गया है. बिशप के इस बयान के बाद बच्चों के माता-पिता नाराज हो गए और उन्हें अपने बयान को लेकर माफी मांगना पड़ा. सिसिली में नोटो के रोमन कैथोलिक समूह ने जोर देते हुए कहा कि बिशप एंटोनियो स्टैग्लियानो (Bishop Antonio Stagliano) अपने बयान के जरिए सांता क्लॉज को लेकर बच्चों के बीच बनी छवि को खत्म नहीं करना चाहते थे. इस बयान के बाद इटली में बखेड़ा खड़ा हो गया है.

बिशप का ये बयान क्रिसमस से दो हफ्ते पहले आया था, इस वजह से विवाद और बढ़ गया था. कम्युनिकेशन डायरेक्टर रेव एलेसेंड्रो पाओलिनो ने इटली के रोमन कैथोलिक समूह के सोशल मीडिया हैंडल पर पोस्ट किया. इसमें उन्होंने कहा कि स्टैग्लियानो क्रिसमस के सही अर्थ और सेंट निकोलस की कहानी को रेखांकित करने की कोशिश कर रहे थे. सेंट निकोलस एक ऐसे बिशप थे, जो गरीबों को गिफ्ट दिया करते थे और रोमन सम्राट द्वारा उन्हें सताया गया था. मीडिया रिपोर्ट्स में कहा गया कि स्टैग्लियानो ने हाल ही में एक धार्मिक उत्सव के दौरान कहा कि सांता मौजूद नहीं हैं और उनकी लाल पोशाक कोका-कोला द्वारा प्रचार के लिए बनाई गई थी.
रोमन कैथोलिक समूह ने क्या कहा?
वहीं, रेव एलेसेंड्रो पाओलिनो ने फेसबुक पर लिखा, 'सबसे पहले बिशप की ओर मैं इस बयान को लेकर अपना दुख व्यक्त करता हूं. इस बयान से बच्चों में निराशा पैदा हुई है. मैं ये साफ करना चाहता हूं कि मोनसिग्नोर स्टैग्लियानो के इरादे कुछ अलग थे.' उन्होंने कहा, 'हमें निश्चित रूप से बच्चों की कल्पना को ध्वस्त नहीं करना चाहिए, बल्कि इससे अच्छे उदाहरण लेने चाहिए जो जीवन के लिए सकारात्मक हों. सांता क्लॉज उदारता, लोगों के साथ प्यार बांटने और गिफ्ट देने के महत्व को व्यक्त करने के लिए एक प्रभावी छवि हैं. लेकिन जब ये छवि खत्म हो जाती है, तो आप सांता क्लॉज को कंज्यूमर की नजर से देखते हैं.'
लोगों ने की बिशप की आलोचना
दूसरी ओर, कई माता-पिता ऐसे भी थे, जिन्होंने क्रिसमस के कैथोलिक मतलब पर ध्यान केंद्रित करने के बिशप के प्रयास का स्वागत किया. वहीं, अन्य लोगों ने पारिवारिक परंपराओं और समारोहों में हस्तक्षेप करने और उन बच्चों की उम्मीदों को तोड़ने के लिए बिशप की आलोचना की. एक व्यक्ति ने कहा, 'आप इस बात का जीता जागता सबूत हैं कि जब परिवारों, बच्चों और पारिवारिक शिक्षा की बात आती है, तो आपको एक भी बात समझ में नहीं आती है.'
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