विश्व
सूडान में सेना ने किया था तख्तापलट, दुनियाभर में हो रही आलोचना
Renuka Sahu
22 Nov 2021 2:43 AM GMT
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फाइल फोटो
सूडान में तख्तापलट करने वाली सेना ने जनता के सामने सरेंडर कर दिया है.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। सूडान (Sudan) में तख्तापलट करने वाली सेना (Army) ने जनता के सामने सरेंडर कर दिया है. लोगों के भारी विरोध को देखते हुए जनरल अब्देल फतह अल-बुरहान (Abdel Fattah al-Burhan) ने एक समझौते के तहत अपदस्थ प्रधानमंत्री अबदल्ला हमदोक (Abdalla Hamdok) को फिर से बहाल कर दिया है. पिछले एक महीने से सूडान में जबरदस्त विरोध-प्रदर्शन हो रहे हैं. हजारों की संख्या लोग सड़कों पर उतरकर सेना की कार्रवाई का विरोध कर रहे हैं.
Hamdok को कर रखा था नजरबंद
हमारी सहयोगी वेबसाइट WION में छपी खबर के अनुसार, सूडान में एक महीने से चल रहे विरोध-प्रदर्शनों के आगे झुकते हुए सेना ने अबदल्ला हमदोक (Abdalla Hamdok) को उनके पद पर बहाल कर दिया है. तख्तापलट को लेकर दुनियाभर में सूडान की सेना की आलोचना हो रही थी. अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने सेना से चुनी हुई सरकार को सत्ता वापस सौंपने की अपील भी की थी. मालूम हो कि जनरल बुरहान ने तख्तापलट के बाद 25 अक्टूबर से अबदल्ला हमदोक को नजरबंद किया हुआ था.
40 से ज्यादा लोगों की हुई मौत
रविवार को भी हजारों की संख्या में लोगों ने सूडान की सड़कों पर उतरकर सेना के खिलाफ नारेबाजी की थी. इस दौरान, प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस के गोले दागे गए थे, जिसमें कई लोग घायल हुए थे. अब तक 40 से ज्यादा लोगों की मौत भी हो चुकी है. वहीं, पीएम अबदल्ला हमदोक ने सेना के साथ समझौते पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि देश के लोगों का खून बेहद कीमती है. हमें खून-खराबा रोककर युवाओं की ऊर्जा को देश के निर्माण में लगाना चाहिए.
गिरफ्तार नेताओं की होगी रिहाई
समझौते के तहत हमदोक प्रधानमंत्री के तौर पर देश का नेतृत्व करते रहेंगे. साथ ही सेना गिरफ्तार नेताओं की रिहाई के लिए भी तैयार हो गई है. सेना के साथ हुए समझौते में 14 बातें शामिल हैं. जिसमें हमदोक को प्रधानमंत्री के रूप में फिर से नियुक्त करना और राजनीतिक बंदियों को रिहा करना प्रमुख हैं. दरअसल, सेना को बिल्कुल भी उम्मीद नहीं थी कि उसके तख्तापलट का जनता द्वारा इस तरह विरोध किया जाएगा. शुरुआत में जनरल अब्देल फतह अल-बुरहान ने विरोध-प्रदर्शन को कुचलने की कोशिश की, लेकिन जब हालात और बिगड़ गए तो उन्होंने जनता के सामने झुकने में हु भलाई समझी.
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