विश्व
आमने-सामने सुगा और बाइडन, चीन पर नकेल कसने के लिए रणनीति पर चर्चा
Rounak Dey
17 April 2021 10:29 AM GMT
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कोरोना की रोकथाम के उपाय और जलवायु परिवर्तन जैसे मसलों के बारे में चर्चा होगी।
कोरोना महामारी की दूसरी लहर के बीच अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाडन और जापान के प्रधानमंत्री योशिहिदे सुगा की व्हाइट हाउस में आमने-सामने की बैठक में हिंद प्रशांत क्षेत्र में चीन के बढ़ते दखल और प्रभुत्व पर गंभीर चर्चा हुई। इसके साथ दोनों नेताओं ने क्वाड को और मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की। बता दें कि क्वाड में अमेरिका और जापान के अलावा ऑस्ट्रेलिया और भारत भी शामिल हैं। गौरतलब है कि कोरोना महामारी के दौरान जापान के प्रधानमंत्री सुगा की यह पहली यात्रा है, जिसमें दोनों नेता आमने-सामने की बैठक कर रहे हैं।
हिंद प्रशांत क्षेत्र चीन के प्रभुत्व को कम करने पर हुए सहमत
बाइडन के साथ सुगा ने व्हाइट हाउस में आयोजित एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि हमारे गठबंधन ने हिंद प्रशांत क्षेत्र और दुनिया में शांति एवं स्थिरता के लिए एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। मौजूदा अंतराष्ट्रीय परिदृष्य में ये चुनौतियां और जटिल हुई हैं, ऐसे में हमारे गठबंधन की महत्ता और बढ़ गई है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन के साथ द्विपक्षीय संबंधों के अलावा बाइडन के साथ हिंद प्रशांत क्षेत्र पर स्वतंत्र और खुलकर चर्चा हुई। जापानी प्रधानमंत्री ने कहा कि हम पूर्व और दक्षिण चीन सागर में बल या जबरदस्ती से स्थिति बदलने और क्षेत्र में दूसरों को डराने के किसी भी प्रयास का विरोध करने के लिए सहमत हुए हैं। सुगा ने कहा कि हिंद प्रशांत क्षेत्र में चीन के प्रभुत्व को नियंत्रित करने के लिए ठोस प्रयासों पर गंभीर वार्ता हुई। उन्होंने कहा कि इसके लिए हम आसियान, ऑस्टेलिया और भारत सहित अन्य देशों और क्षेत्रों के साथ भी सहयोग करेंगे।
बाइडन से व्यक्तिगत तौर पर मिलने वाले पहले विदेशी राजनेता
जापान के प्रधानमंत्री सुगा, अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन से व्यक्तिगत तौर पर मिलने वाले पहले विदेशी राजनेता हैं। सुगा पहले ऐसे विदेशी नेता हैं जो बाइडन के पदभार ग्रहण करने के बाद उनसे मुलाकात किया। यह यात्रा इस बात का प्रमाण है कि अमेरिका, जापान के लिए कितना महत्व रखता है। यह यात्रा दोनों देशों के न केवल मजबूत संबंधों को प्रदर्शित करता है, बल्कि हिंद-प्रशांत क्षेत्र में टोक्यो की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। खास बात यह है कि कोरोना संकट के बाद पहली बार दो राष्ट्राध्यक्षों की आमने-सामने की बातचीत हो रही है। इस बैठक में चीन का हिंद प्रशांत क्षेत्र में बढ़ता दखल अहम मुद्दा है। दोनों नेता हिंद प्रशांत क्षेत्र में चीन की सक्रियता की काट के लिए रणनीति पर विचार कर रहे हैं। आधिकारिक तौर पर सामने आए बयान के मुताबिक इस शिखर सम्मेलन में खुले और मुक्त हिंद प्रशांत क्षेत्र, कोरोना की रोकथाम के उपाय और जलवायु परिवर्तन जैसे मसलों के बारे में चर्चा होगी।
Rounak Dey
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