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रेस्त्रां में बैठकर अनजान लोगों को रुपये बांटता है ये शख्स, इमोशनल कर देगी वजह

Neha Dani
12 July 2022 1:51 AM GMT
रेस्त्रां में बैठकर अनजान लोगों को रुपये बांटता है ये शख्स, इमोशनल कर देगी वजह
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कहानी बताती है कि नेक काम करने के लिए जिस मजबूत इच्छाशक्ति की जरूरत होती है वो इस बुजुर्ग से सीखी जा सकती है.

अपने मां-बाप की इच्छा पूरी करने के लिये लोग क्या कुछ नहीं करते हैं. ऐसे में अपनी मां के आखिरी शब्दों को पूरी दुनिया तक पहुंचाने के लिए एक शख्स ने जो किया उसकी जमकर तारीफ हो रही है. इस बुजुर्ग की कहानी शुरु होती है साल 2014 में जब उन्होंने एक रेस्टोरेंट में बैठकर अनजान लोगों को रुपये बाटने शुरू किए और ये सिलसिला अभी भी जारी है.


'सभी से प्‍यार करो'

ये कहानी अमेरिका (US) में रहने वाले एक बुजुर्ग की है जिनकी कहानी को एक एड मेकर केविन केट ने अपने ट्विटर (Twitter) हैंडल पर शेयर किया है. केविन ने बताया कि ये बुजुर्ग शख्‍स अनजान लोगों को कैश बांटते हैं. और जिन लोगों को वो पैसा देते हैं उनसे ये उम्‍मीद रखते हैं कि वो सभी मैसेंजर ऑफ गॉड की तरह 'प्रेम के संदेश' को आगे फैलाएंगे.

अपनी पोस्ट में केविन ने लिखा, 'सनडे को यह बुजुर्ग शख्स एक रेस्‍टोरेंट में थे, मैं भी वहीं था और उनके पास काफी कैश और कुछ कागज के टुकड़े थे. जिन पर लिखा हुआ था, 'सभी से प्‍यार करो'.

वायरल हुआ ट्वीट


फैला रहे मां का आखिरी संदेश

जब केविन ने इन बुजुर्ग से पूछा कि आप इन नोटों और कागज के टुकड़ों के साथ क्या करते हैं? इस पर उन्‍होंने कहा कि वो रोज कुछ अजनबी लोगों को 1 डॉलर यानी करीब 80 रुपए से लेकर 5 डॉलर 400 रुपए तक देते हैं.

बुजुर्ग ने कहा, 'मैं 2014 से ऐसा कर रहा हूं. अब तक करीब 10 लाख रुपये इस उम्मीद में बांट रहा हूं कि ये सभी लोग मेरी मां के उस संदेश को आगे बढ़ाएंगे जो मरते समय उनकी जुबान से निकले थे. मां ने कहा था सभी से प्यार करो. मैं नोटों के साथ पेपर की चिट में अपनी मां का संदेश लिखकर सभी को देता हूं. मैंने इस मुहिम की शुरुआत फ्लोरिडा (Florida) से की और ये सिलसिला अभीतक जारी है '

प्रतिक्रियाओं का दौर जारी

इस कहानी के वायरल होने के बाद लोगों के रिएक्शंस का दौर जारी है. इस पोस्ट को हजारों की तादाद में लोग रिट्वीट और लाइक कर रहे हैं. कई लोगों का कहना है कि सभी को ऐसी कहानियों से सीख लेनी चाहिए खासकर यूथ को जो अपने मूल्यों से दूर हो रहे हैं. इस बुजुर्ग की कहानी बताती है कि नेक काम करने के लिए जिस मजबूत इच्छाशक्ति की जरूरत होती है वो इस बुजुर्ग से सीखी जा सकती है.

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