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तेजी से फैल रहा कोरोना: कठोर पाबंदियों से लोगों में खौफ, लाशें छिपा रहा है चीन
jantaserishta.com
3 April 2022 2:44 AM GMT
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बीजिंग: चीन में कोरोना वायरस महामारी (China Coronavirus) की नई लहर से हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं। स्थिति इतनी गंभीर (China Corona Update 2022) हो चुकी है कि चीनी प्रशासन ने देश की वित्तीय राजधानी शंघाई में लॉकडाउन (Shanghai Lockdown) लगा दिया है। इस दौरान शहर में आर्थिक गतिविधियां पूरी तरह से ठप पड़ गई हैं। विदेशों कों निर्यात किए जाने वाले सामानों की सप्लाई रोक दी गई है। शंघाई के अधिकारी शहर में तेजी से फैलते संक्रमण (Shanghai Coronavirus) की रफ्तार को रोकने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा रहे हैं। हालात इतना खराब हो चुका है कि शंघाई के किसी भी अस्पताल में कोरोना संक्रमित मरीजों को भर्ती करने की जगह नहीं बची है। इसके बावजूद चीन का दावा है कि शंघाई में कोरोना संक्रमण से अभी तक किसी की मौत नहीं हुई है।
बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, शंघाई के पूर्वी पुडोंग इलाके में स्थिति काफी गंभीर है। रिपोर्ट में शंघाई के डोंगहाई एल्डरली केयर अस्पताल में काम करने वाले कुछ लोगों से बात कर वीभीषिका के बारे में बताया गया है। अस्पताल में काम करने वाले लोगों ने कहा कि वो बुजुर्ग मरीजों का इलाज करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं, इनमें से कई लोगों की मौत भी हो चुकी है। शंघाई के सबसे बड़े अस्पताल की एक नर्स ने बताया कि तीन हफ्ते पहले इस फैसिलिटी में कोरोना वायरस के पहले मामले की पहचान की गई थी।
पहला मामला सामने आने के बाद शंघाई प्रशासन ने डोंगहाई एल्डरली केयर अस्पताल को आम लोगों के लिए बंद कर दिया है। तब से शंघाई नगरपालिका की रोग नियंत्रक टीमें इस अस्पताल से बाकी इलाके में संक्रमण को रोकने के लिए काम कर रही हैं। पिछले हफ्ते इसी अस्पताल में आपातकालीन स्थिति में काम करने पहुंचे एक दूसरे कर्मचारी ने बताया कि उसने एक मरीज को मरते देखा है। कर्मचारी ने यह भी कहा कि मेरे एक साथी ने भी दूसरे मरीज की मौत की पुष्टि की थी। हालांकि, उन्होंने यह पुष्टि करने से इनकार किया कि इन मरीजों की मौत कोविड से हुई है या किसी दूसरी बीमारी से।
एक नर्स ने बताया कि वह क्वारंटाइन सेंटर जाने से पहले इसी अस्पताल में काम करती थी और रात में सोती भी थी। उसने बताया कि लगातार नए मामले बढ़ने के कारण हालात बद से बदतर होते चले गए। उसने दावा किया कि शंघाई सरकार के भेजे गए मेडिकल स्टाफ और विशेषज्ञ भी संक्रमित थे। उसने कहा कि पहले तो हम हमेशा की तरह काम करते रहे, लेकिन बाद में उन्होंने हर विभाग को बंद करना शुरू कर दिया। तब हमारे मैनेजर ने कहा कि हालात काफी खराब होते जा रहे हैं। कई मरीज तो ऐसे थे, जो मास्क पहनने से भी इनकार कर रहे थे।
इस हफ्ते काम करने वाले एक और नर्स ने बताया कि जब वह अस्पताल पहुंची तो वहां चारों तरफ गंदगी फैली हुई थी। अस्पताल के अंदर बिखरे हुए डिब्बे और कचरे के भरे बैग नजर आ रहे थे। इस बीच चीनी सोशल मीडिया पर कई लोगों ने दावा किया कि उन्हें अपने परिजनों से मिलने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। अपनी दादी का इलाज करवा रहे एक आदमी ने कहा कि अस्पताल में भर्ती करवाने के बाद उनके बारे में जानकारी प्राप्त करना बहुत मुश्किल था।
बीबीसी ने मृतकों के बारे में जानने के लिए स्थानीय शवदाह गृहों से भी संपर्क किया। लेकिन, सबने इस बात से इनकार किया कि उन्हें अस्पताल से किसी मरीज का शव भेजा गया है। शंघाई विदेश मामलों के कार्यालय ने भी कोरोना से लोगों की मौत के बारे में कोई भी टिप्पणी नहीं की है।
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