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अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने देश में घातक हथियारों के लाइसेंस दिए जाने के मामले में संशोधन किए जाने की संसद सलाह दी है।
अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने देश में घातक हथियारों के लाइसेंस दिए जाने के मामले में संशोधन किए जाने की संसद सलाह दी है। उन्होंने घातक हथियारों पर रोक लगाने के लिए भी कहा है। तीन साल पहले हुए पार्कलैंड नरसंहार की तीसरी बरसी पर बाइडन ने हथियारों के लाइसेंस दिए जाने में और सख्ती किए जाने की बात की।
2018 में फ्लोरिडा प्रांत में पार्कलैंड के मैरजोरी स्टोनमैन डगलस हाईस्कूल में एक हमलावर ने घुसकर ताबड़तोड़ गोलियां चला दी थीं। इस हमले में 14 बच्चों सहित 17 लोगों की मौत हो गई थी। इस दर्दनाक घटना के बाद से ही हथियारों के लाइसेंस को लेकर देश भर में जबर्दस्त बहस चल रही है।
पार्कलैंड नरसंहार की बरसी पर राष्ट्रपति जो बाइडन ने एक वक्तव्य जारी करते हुए कहा कि इस घटना के बाद अधिकांश माता-पिता और किशोर हथियारों के कानून में सुधार के पैरोकार बन गए हैं। हथियार रखने का अधिकार अमेरिकी संविधान के दूसरे संशोधन से संरक्षित किया गया है। इसके पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप सहित कई कंजरवेटिव समर्थक रहे हैं। राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा कि सभी बंदूकों की बिक्री के लिए पृष्ठभूमि की जांच, उच्च क्षमताओं वाले हथियारों के लाइसेंस दिए जाने पर रोक होनी चाहिए। उन्होंने बंदूक निर्माताओं को कानूनी प्रतिरक्षा दिए जाने पर भी रोक लगाने के लिए कहा है।
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एक अलग बयान में हाउस स्पीकर नैंसी पेलोसी कहा कि कांग्रेस (संसद) फिर से पृष्ठभूमि की जांच के कानून को फिर से लागू करेगी। हम जीवन रक्षक बिलों की भी फिर से समीक्षा करेंगे। पार्कलैंड घटना को लेकर हुए कार्यक्रमों में अमेरिका के स्कूलों में सुरक्षा पर भी जोर दिया गया।
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