पोलैंड: सरकार ने देश में गर्भपात पर लगाया बैन, महिलाओं ने शुरू किया प्रदर्शन
जनता से रिश्ता वेब डेस्क। वॉरसॉ. पोलैंड (Poland) की सरकार ने बुधवार को गर्भपात (Abortion) पर लगभग पूरी तरह से बैन लगा दिया है. इसको लेकर देश में महिलाओं में काफी आक्रोश देखने को मिल रहा है. पोलैंड में भ्रूण में किसी भी तरह की दिक्कत आने पर कानूनी तौर पर महिलाएं गर्भपात करा सकती थीं, हालांकि, नए नियम के अनुसार गर्भपात पर अब लगभग पूरी तरह से बैन लगा दिया गया है. पिछले साल 22 अक्टूबर को वहां की एक कोर्ट ने ये आदेश जारी किया था जिसे पोलैंड की सरकार ने अब लागू किया है.
गर्भपात को गैरकानूनी बताते वाले कोर्ट के आदेश के खिलाफ महिलाएं पिछले साल से ही विरोध प्रदर्शन कर रही थीं. पोलैंड की राजधानी वॉरसॉ और अन्य शहरों में महिलाओं के अधिकार की मांग के लिए और इस कानून के विरोध के लिए महिलाएं, और संगठन सड़कों पर उतर आए हैं. पोलैंड की कुछ महिलाओं का कहना है कि अगर भ्रूण में कोई दिक्कत होने पर वो गर्भपात नहीं कर सकतीं तो फिर वो बच्चे पैदा करने की कोशिश भी नहीं करेंगी.
पोलैंड के ह्यूमन राइट्स कमिशनर एडम बोडनर ने कहा कि सरकार महिलाओं के अधिकारों को खत्म करना चाहती है और उन्हें प्रताड़ित करना चाहती है. इस कानून में महिलाओं को गर्भपात कराने की बस दो ही शर्त में छूट है, अगर गर्भधारण बलात्कार या घरेलू अनाचार के कारण हुआ है या फिर गर्भधारण करने से महिला की जान को खतरा है. आंकड़ों के अनुसार देश के सभी गर्भपात के मामलों में से 98 फीसदी, इसी आधार पर हुए हैं कि भ्रूण में किसी तरह की दिक्कत है. साल 2019 में 1,110 गर्भपात के मामले इसी आधार पर हुए थे.
महिलाओं के अधिकार के लिए काम करने वाले कार्यकर्ताओं ने इस कानून को बेरहम बताया है. प्रदर्शनकारियों ने गर्भपात कानून में पूर्ण उदारीकरण की मांग की है और सरकार से इस्तीफा मांगा है मगर हाल के वक्त में ऐसा कुछ भी होता नजर नहीं आ रहा है. देश में गर्भपात से जुड़े कानून पहले से ही पूरे यूरोप में सबसे सख्त थे. हर साल 80,000 से 120,000 पोलिश महिलाएं दूसरे देशों में जाकर गर्भपात करवाती हैं