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गठबंधन से हिंद-प्रशांत और दूसरे क्षेत्रों में संबंधों को नया रूप मिलेगा।
अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन (Joe Biden) और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों (Emmanuel Macron) के बीच शुक्रवार को फोन पर बातचीत हुई। दोनों पक्षों ने यूरोपीय डिफेंस को मजबूत बनाने पर चर्चा की। व्हाइट हाउस ने यह जानकारी दी। सबमरीन कंट्रैक्ट को लेकर अमेरिका और फ्रांस के रिश्तों में आई खटास को वाशिंगटन दूर करना चाहता है। इस माह के बाद रोम में बाइडन फ्रांसीसी राष्ट्रपति से मुलाकात करेंगे।
अमेरिका और ब्रिटेन ने परमाणु सबमरीन की आपूर्ति के लिए आस्ट्रेलिया के साथ करार किया, जिसके बाद आस्ट्रेलिया ने फ्रांस के साथ डीजल संचालित पनडुब्बी के करार को रद कर दिया। इस पर फ्रांस ने नाराजगी जताई और इसमें उसका साथ यूरोपीय यूनियन के राजनयिकों ने दिया। नाटो महासचिव ने भी इस पर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने किसी का पक्ष नहीं लिया बल्कि उन्होंने गठबंधन के प्रमुख लक्ष्यों के बारे में एकजुटता बढ़ाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा, 'मैं फ्रांस की नाराजगी अच्छी तरह समझता हूं। नाटो सदस्यों को सर्वाधिक महत्वपूर्ण मामलों पर सहमत होना चाहिये. इसके जरिये हम साझा चुनौतियों से मिलकर निपट सकेंगे।'
पिछले दिनों अमेरिका, ब्रिटेन और आस्ट्रेलिया ने नए सुरक्षा गठबंधन (AUKUS) का ऐलान किया है। इस गठबंधन के बाद आस्ट्रेलिया परमाणु ताकत से लैस पनडुब्बियां (Nuclear-Powered Submarines) से लैस हो सकेगा। गठबंधन से हिंद-प्रशांत और दूसरे क्षेत्रों में संबंधों को नया रूप मिलेगा।
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