पाकिस्तान: नवाज शरीफ पर रोजद्रोह का केस दर्ज कराने वाला निकला PTI नेता, कई आपराधिक मामलों का आरोपी
जनता से रिश्ता वेबडेस्क | लाहौर के शाहदरा थाने में नवाज शरीफ और उनकी पार्टी के नेताओं के खिलाफ बदर रशीद नाम के जिस व्यक्ति ने एफआईआर दर्ज कराई है वह तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी का कार्यकर्ता रहा है और उसके खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज हैं। ये खुलासा होने के बाद पीएमएल के नेताओं ने कहा है कि इससे ये बात साफ हो गई है कि इमरान खान हुकूमत किस तरह पीएमएल-एन के मुखिया और पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ समेत 40 अन्य पार्टी नेताओं के खिलाफ झूठे मुकदमे दर्ज करा रही है।
दूसरी तरफ एक अन्य मामले में पंजाब सरकार ने आजाद कश्मीर के मुखिया राजा फारुख हैदर के खिलाफ दर्ज मामला वापस ले लिया है। फारुख की गिरफ्तारी को लेकर सरकार की हर तरफ आलोचना हो रही थी और कहा जा रहा था कि कश्मीर को लेकर चल रही लड़ाई इस गिरफ्तारी से कमजोर पड़ सकती है। आखिरकार दबाव में आकर पंजाब सरकार ने राजा फारुख हैदर का नाम एफआईआर से हटा लिया है।
सोमवार को लाहौर के पुलिस कप्तान उमर शेख ने नवाज शरीफ, उनकी बेटी मरियम नवाज, राजा फारुख हैदर समेत तमाम पार्टी नेताओं के खिलाफ राजद्रोह समेत कई अन्य मामलों में मामला दर्ज किया था। इनके खिलाफ बदर रशीद उर्फ हीरा नाम के एक शख्स ने शिकायत दर्ज कराई थी। बाद में तस्वीरें और आपराधिक रिकॉर्ड खंगालने के बाद पता चला कि शिकायतकर्ता रशीद सत्ताधारी पार्टी पीटीआई के मजदूर संगठन का पदाधिकारी है। इसी थाने में उसके खिलाफ हत्या की कोशिश का एक मामला दर्ज है। उसके खिलाफ ननकाना जिले में भी गैरकानूनी हथियार रखने और एक पुलिसकर्मी पर हमला करने का मुकदमा दर्ज है। रशीद पीटीआई के टिकट पर यूनियन काउंसिल के चेयरमैन का चुनाव भी लड़ चुका है।
पीएमएल–एन ने इन खुलासों के बाद प्रांत के गवर्नर पर भी सवाल उठाया है और कहा है कि कैसे किसी एसएचओ स्तर के पुलिस अफसर को ये अधिकार मिल सकता है कि वह दो पूर्व प्रधानमंत्रियों, आजाद कश्मीर के मुखिया, तीन पूर्व सेना अधिकारियों, सिंध के पूर्व गवर्नर, पंजाब के दो पूर्व मंत्रियों समेत तमाम अहम नेताओं के खिलाफ राजद्रोह जैसे गंभीर आरोप की एफआईआर लिख सकता है। बगैर 'ऊपर के' आदेश के वो ऐसा कतई नहीं कर सकता।
डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक इस बारे में पूछे जाने पर पंजाब के पुलिस प्रमुख उमर शेख ने कुछ भी बोलने से मना कर दिया जबकि पुलिस ने एक बयान जारी कर इन आरोपों का खंडन किया है कि उसने नवाज और पीएमएल नेताओं के खिलाफ एफआईआर किसी सरकारी संस्था या व्यक्ति के दबाव में आकर दर्ज नहीं किया है बल्कि एक नागरिक बदर रशीद की शिकायत पर ही ये मामला दर्ज हुआ है और इस बारे में जांच चल रही है।
दूसरी तरफ पंजाब के सूचना मंत्री फैय्याजुल हसन चोहान ने कहा है आजाद कश्मीर के प्रमुख राजा फारुक हैदर का नाम एफआईआर से हटाने का फैसला जांच के दौरान ही कर लिया गया था, जबकि अन्य नेताओं के खिलाफ जांच अभी चल रही है। उन्होंने इस बात से साफ इंकार किया कि पुलिस अपना काम कर रही है और इन मामलों से इमरान खान का कोई लेना देना नहीं है। सूचना मंत्री ने इस बात से भी इनकार किया कि शिकायतकर्ता बदर रशीद का पीटीआई से कोई रिश्ता है। उन्होंने कहा कि बहुत से लोग पीटीआई नेताओं के साथ फोटो खिंचवाते रहते हैं लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि वो पार्टी के कार्यकर्ता ये नेता हो गए।