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अब इस फौज में बीमार कैदियों की भर्ती की, एड्स के मरीजों को हथियार बनाकर इस्तेमाल करने का दावा

Rounak Dey
1 Nov 2022 1:58 AM GMT
अब इस फौज में बीमार कैदियों की भर्ती की, एड्स के मरीजों को हथियार बनाकर इस्तेमाल करने का दावा
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सिपहसालारों की ओर से ऐसे किसी भी घटनाक्रम की पुष्टि नहीं की गई है.
ब्रिटेन (UK) के रक्षा मंत्रालय ने दावा किया है कि यूक्रेन युद्ध में पिछड़ रहे व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) ने यूक्रेन को हराने के लिए एड्स एचआईवी (HIV) और हेपेटाइटिस पीड़ित मरीजों को अपनी प्राइवेट आर्मी में भर्ती किया है. ब्रिटेन के रक्षा मंत्रालय का कहना है कि इससे पहले की लड़ाइयों में वेगनर ग्रुप में भर्ती के मानक काफी उच्च थे. इस फौज में बेहद सधे और प्रोफेशनल्स को भर्ती किया जाता था. पर अब इस फौज में बीमार कैदियों की भर्ती की जा रही है. इससे साफ होता है कि पुतिन यूक्रेन को हराने के लिए किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार हैं.
'100 से अधिक कैदियों की नियुक्ति'
'डेली स्टार' में प्रकाशित एक रिपोर्ट के मुताबिक व्लादिमीर पुतिन की प्राइवेट आर्मी में इस सीजन में अबतक 100 से अधिक बीमार कैदियों की भर्ती हो चुकी है. इनकी पहचान के लिए उन्हें रंगीन ब्रेसलेट पहनाया जा रहा है. इस खबर को लेकर यूक्रेन के सैन्य खुफिया विभाग का कहना है कि इससे रूस के बाकी सैनिकों में भी डर फैल गया है. मीडिया रिपोर्ट में ऐसे सैनिकों को दूसरे सोल्जर्स से अलग रखा जा रहा है. इन सैनिकों को सामान्य सैनिकों की बैरक में जाने और उनसे मिलने-जुलने की इजाजत नहीं है.
युद्ध में क्या पिछड़ रहे हैं पुतिन?
इस बीच बीते 7 दिनों से यूक्रेन का रक्षा मंत्रालय , लगातार रूस को पीछे धकेलने के साथ उसे बड़ी चोट पहुंचाने का दावा कर रहा है. रूस ने इस बीच क्रीमिया के पास काला सागर में रूसी बेडे के मुख्यालय को ड्रोन हमले से निशाना बनाने का आरोप लगाया है. वहीं पश्चिमी देशों की मीडिया रिपोर्ट्स में यूक्रेन को मिल रहे अमेरिका और यूरोपीय सपोर्ट की मदद से मजबूत होने और अकेले पड़े रूस के पिछड़ने का दावा किया जा रहा है. ऐसे में शक्तिशाली रूस की सत्ता संभाल रहे पुतिन या उनके सिपहसालारों की ओर से ऐसे किसी भी घटनाक्रम की पुष्टि नहीं की गई है.

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