रूस ने यूक्रेन के पश्चिमी शहर लवीव पर शनिवार को लगातार कई रॉकेट दागे. ये गोलाबारी तब हुई जब अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन की पोलैंड की राजधानी वारसॉ में मौजूद थे. लवीव से वारसॉ की दूरी महज 40 मील है. इन शक्तिशाली विस्फोटों ने ऐसे शहर को दहला दिया. लवीव इन दिनों यूक्रेन के अन्य हिस्सों भागकर आए हजारों लोगों के लिए एक आश्रय स्थल बना हुआ है. एपी की रिपोर्ट के मुताबिक क्षेत्रीय गवर्नर मैक्सिम कोजित्स्की ने फेसबुक पर बताया कि पहले हमले में पांच लोगों के घायल होने की आशंका है, लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि दो रॉकेट हमलों से क्या-क्या तबाह हो गया. कुछ घंटों के बाद उन्होंने शहर के बाहर तीन और विस्फोटों की सूचना दी लेकिन हमलों की विस्तार से जानकारी नहीं दी.
लवीव के मेयर एंड्री सदोवी ने दूसरे रॉकेट हमले के बारे में बताया कि इस हमले में अच्छा खासा नुकसान हुआ है. यूक्रेन पर 24 फरवरी से रूस ने हमला शुरू किया था लेकिन लवीव इन हमलों में काफी हद तक बचा हुआ था. हालांकि रूसी मिसाइलों ने एक सप्ताह पहले अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के पास एक विमान की मरम्मत करने वाली जगह पर हमला कर दिया था. खारकीव से भागकर लवीव आईं ओलाना ने बताया कि हमारे साथ कई लोगों ने एक अपार्टमेंट में ब्लॉक के नीचे शरण ले रखी है. उन्होंने कहा कि मुझे विश्वास ही नहीं हो रहा है कि पहला धकामा अपार्टमेंट से कुछ दूरी पर ही हुआ.
34 वर्षीय आईटी कर्मचारी ने विस्फोट के बारे में बताया, "हम सड़क की एक तरफ थे और दूसरी तरफ देखा कि आग लगी हुई है. मैंने अपने दोस्त से कहा, यह क्या है? तभी हमें जोरदार धमाके और कांच टूटने की आवाज सुनाई दी. हमने इमारतों के बीच में छिपने की कोशिश की. मुझे नहीं पता था कि रूसी किसे अपना टार्गेट बना रहे हैं."
महिला ने कहा कि लवीव आने के बाद मुझे राहत महसूस हुई थी कि अब यहां हवाई हमलों का डर नहीं है. उन्होंने बताया कि मुझे लगता था कि हवाई हमलों से बचने के लिए बेवहज सायरन बजाए जा रहे हैं. मैं जब रात में सायरन सुनती थी तो मैं कहीं नहीं छुपती थी बल्कि अपने बिस्तर पर ही रहती थी लेकिन आज मैंने अपने यह विचार बदल दिया है. यूक्रेन का कोई भी शहर अब सुरक्षित नहीं है.