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सऊदी अरब की राजधानी रियाद में स्थित रॉयल पैलेस पर पिछले महीने विस्फोटकों से भरे ड्रोन के जरिए हमला किया गया.
सऊदी अरब (Saudi Arabia) की राजधानी रियाद (Riyadh) में स्थित रॉयल पैलेस (Royal Palace) पर पिछले महीने विस्फोटकों से भरे ड्रोन (Drone) के जरिए हमला किया गया. इस हमले को लेकर चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. दरअसल, इस ड्रोन को इराक (Iraq) के भीतर से दागा गया था. बगदाद (Baghdad) में ईरान समर्थित मिलिशिया के एक वरिष्ठ अधिकारी और एक अमेरिकी अधिकारी ने इसकी जानकारी दी है.
बातचीत करते हुए मिलिशिया के अधिकारी ने कहा, ईरान समर्थित एक अज्ञात धड़े ने इराक के इराकी-सऊदी सीमा से तीन ड्रोन्स को लॉन्च किया. ये ड्रोन्स 23 जनवरी को रियाद में रॉयल कॉम्पलैक्स में जाकर क्रैश हो गए. इससे क्षेत्रीय तनाव पैदा हो गया था. पड़ोसी मुल्क यमन में हूती विद्रोहियों के खिलाफ पिछले पांच साल से जारी जंग के बीच सऊदी अरब की राजधानी में हमला छिटपुट घटनाएं रही हैं.
हूती विद्रोहियों ने हमले में हाथ होने से किया इनकार
इस महीने की शुरुआत में, हूती विद्रोहियों (Houthi Rebels) ने सऊदी अरब के दक्षिण पश्चिम में स्थित एक हवाई अड्डे को ड्रोन से निशाना बनाया था. इस हमले में हवाई अड्डे पर स्थित एक विमान में आग लग गई थी. हालांकि, कथित रूप से ईरान (Iran) द्वारा समर्थित हूती विद्रोहियों ने सऊदी अरब के यमामा पैलेस (Yamama Palace) पर 23 जनवरी को हुए हमले में हाथ होने से इनकार किया है. गौरतलब है कि ईरान लगातार हूती विद्रोहियों को समर्थन देने की बात से इनकार करता रहा है. लेकिन इस बात के सबूत हैं कि तेहरान विद्रोहियों को हथियार की सप्लाई करता है.
इराक से होने वाले हमलों को रोकने में नाकामयाब रहा है बगदाद
इराकी मिलिशिया के वरिष्ठ अधिकारी द्वारा की गई ये टिप्पणी पहली बार है, जब ईरान समर्थित किसी समूह ने हमले का लॉन्च पैड इराक को बताया है. साथ ही अधिकारी ने इस बात को भी रेखांकित किया है, बगदाद ईरान समर्थित मिलिशिया द्वारा उसकी जमीन से किए जाने वाले हमले को रोकने में नाकामयाब रहा है. पिछले साल अमेरिका द्वारा किए गए हमले में ईरानी जनरल कासिम सोलेमानी और ईराकी मिलिशिया नेता अबु महदी अल-मुहांदिस की हत्या के बाद ईरान समर्थित समूह बिखर गए हैं. दरअसल, ये दोनों नेता इराक में इन समूहों पर नियंत्रण रखते थे.
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