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कोसोवो के राष्ट्रपति पर युद्ध अपराध का मुकदमा, केस शुरू होने से पहले छोड़ा पद

Kunti Dhruw
6 Nov 2020 2:07 PM GMT
कोसोवो के राष्ट्रपति पर युद्ध अपराध का मुकदमा, केस शुरू होने से पहले छोड़ा पद
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कोसोवो के राष्ट्रपति पर युद्ध अपराध का मुकदमा, केस शुरू होने से पहले छोड़ा पद

ऐसी घटना दुनिया में संभवतः पहली बार हुई है,

जनता से रिश्ता वेबडेस्क : ऐसी घटना दुनिया में संभवतः पहली बार हुई है, जब किसी देश के राष्ट्रपति ने अंतरराष्ट्रीय अदालत में अपने खिलाफ चलने वाले मुकदमे की वजह से इस्तीफा दिया हो। वो भी ऐसे कथित अपराध के मामले में, जो दो दशक से अधिक समय पहले एक गृह युद्ध जैसी परिस्थितियों में किया गया हो। कोसोवो के निवर्तमान राष्ट्रपति हाशिम थाची पर हेग (नीदरलैंड्स) स्थित अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में केस चलेगा। उन्होंने गुरुवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया।

आरोप है कि 1990 के दशक में सर्बिया से चल रहे कोसोवो के स्वतंत्रता संग्राम के समय हुए नरसंहार के लिए वे दोषी हैं। उस वक्त थाची एक गुरिल्ला नेता थे। इस्तीफा देते हुए थाची ने कहा कि वे 'कोसोवो के राष्ट्रपति पद की साख कायम रखने के लिए त्यागपत्र दे रहे हैं।'

थाची पर आरोप हेग स्थित एक विशेष कोसोवो न्यायालय ने तय किए हैं। इस कोर्ट की स्थापना पूर्व नस्लीय अल्बानियाई बागी नेताओं के अपराधों की जांच के लिए की गई थी। थाची के अलावा भी कुछ राजनेताओं पर इस कोर्ट ने आरोप तय किए हैं। उनमें कोसोवो की संसद के पूर्व स्पीकर कादरी वेसेली भी हैं। इन लोगों पर हत्या, लोगों को जरबन गायब करने, उन्हें सताने और यातना देने के इल्जाम लगाए गए हैं।

कोसोवो लिबरेशन आर्मी के तीन पूर्व कमांडर भी उन लोगों में शामिल हैं, जिन पर मुकदमा चलेगा। कोसोवो लिबरेशन आर्मी का गठन सर्बिया से कोसोवो को आजाद कराने के लिए किया गया था। इस आर्मी से जुड़े आरोपित लोगों पर युद्ध अपराध का मुकदमा चलेगा। विशेष कोसोवो कोर्ट की स्थापना पांच साल पहले हुई थी।

कोसोवो और सर्बिया दोनों पहले यूगोस्लाविया के हिस्से थे। सोवियत खेमे के ढहने के बाद यूगोस्लाविया भी बंट गया था। यूगोस्लाविया से निकल कर सर्बिया, स्लोवेनिया, क्रोएशिया, मेसिडोनिया, और बोस्निया- हर्जेगोविना अलग-अलग देश बन गए। कोसोवो का इलाका उसके बाद भी सर्बिया का हिस्सा रहा, जिससे आजाद होने के लिए उसे कई वर्षों तक संघर्ष करना पड़ा। यूरोप के बाल्कन क्षेत्र में स्थित यूगोस्वालिया के विखंडन के दौरान काफी हिंसा हुई थी। उस दौरान कई इलाकों में कत्लेआम होने के आरोप लगे थे।

थाची पर कम से कम 100 हत्याओं में शामिल रहने का आरोप लगा है। विशेष अदालत ने थाची और वेसली के खिलाफ आरोपों को सार्वजनिक किया था, जबकि बाकी आरोपियों पर ठीक-ठीक क्या इल्जाम हैं, इसे सार्वजनिक नहीं किया गया। कोर्ट ने कहा था कि उसने ऐसा इसलिए किया क्योंकि थाची और वेसली प्रभावशाली पदों पर मौजूद रहे हैं। वे इस हैसियत में हैं कि सबूतों को प्रभावित कर न्याय में बाधा डाल सकें।

साल 2011 में मानवाधिकारों के हक में काम करने वाली अंतरराष्ट्रीय संस्था काउंसिल ऑफ यूरोप ने कोसोवो के स्वतंत्रता संग्राम के दिनों हुए मानवाधिकारों के हनन पर एक रिपोर्ट जारी की थी। उसमें कोसोवो लिबरेशन आर्मी पर यह आरोप भी लगाया गया था कि उसने बहुत से लोगों के अंग निकालकर उसकी तस्करी की। साथ ही उसने बड़ी संख्या में सर्ब लोगों की हत्याएं की।

उस रिपोर्ट के बाद ही विशेष अदालत और अभियोजक की नियुक्ति की गई थी। कोर्ट को 1998 से 2000 के बीच हुई घटनाओं की जांच करने और दोषियों की सजा तय करने का अधिकार दिया गया है। कोसोवो आखिरकार 2008 में आजाद हुआ था, लेकिन सर्बिया ने उसे आज तक मान्यता नहीं प्रदान की है।

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