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जेल की महिला गार्ड्स ने पहने गाउन, डांस करते हुए शेयर किए वीडियो, बढ़ा ब्यूटी कॉन्टैस्ट को लेकर विवाद

Gulabi
10 Jun 2021 12:32 PM GMT
जेल की महिला गार्ड्स ने पहने गाउन, डांस करते हुए शेयर किए वीडियो, बढ़ा ब्यूटी कॉन्टैस्ट को लेकर विवाद
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रूस में एक अनोखे तरीके की ब्यूटी प्रतियोगिता हो रही है, जिसे

Russia Beauty Pageant: रूस में एक अनोखे तरीके की ब्यूटी प्रतियोगिता हो रही है, जिसे काफी आलोचनाओं का सामना भी करना पड़ रहा है. इस प्रतियोगिता में जेल की महिला गार्ड्स ने हिस्सा लिया है (Russia Beauty Contest). देशभर की ऐसी गार्ड्स ने अपनी डांस करते हुए शॉर्ट वीडियो पोस्ट किए. मिस पैनल सिस्टम कॉन्टैस्ट 2021 नामक प्रतियोगिता में महिलाओं ने खुद को म्यूजियम में रखी एक खूबसूरत चीज के तौर पर पेश किया और उन्होंने अपने प्रोफेशन को ग्लैमराइज करने पर जोर दिया. इसके साथ ही उन्होंने अपनी जेल वाली यूनिफॉर्म में भी तस्वीरें शेयर कीं.

इन्हें जज करने के लिए पैनल में अधिकतर पुरुष शामिल हैं. इसके साथ ही एक ऑनलाइन पोल का आयोजन भी किया गया. अब इस इवेंट को काफी आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है. एक महिला अधिकार कार्यकर्ता नास्तया क्रासिलनिकोवा ने इसपर दुख व्यक्त किया है (Beauty Contest in Russia). उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्यक्रमों से लोग प्रतियोगियों को एक वस्तु की तरह देखते हैं. इन प्रतियोगियों में वरिष्ठ लेफ्टिनेंस अनसतासिया ओकोलिलोवा भी शामिल हैं. उनका कहना है कि वह बचपन से ऐसा सपना देखती थीं कि उन्होंने कंधे तक की स्ट्रिप ड्रेस पहनी हो और वह जेलकर्मी के तौर पर काम कर रही हों. वह इंटरनेट पोल में वह दूसरे स्थान पर बनी हुई हैं.
फैशन मॉडल बनना चाहती थीं वासिलीवा
वहीं व्लादिमीर क्षेत्र की कटरीना वासिलीवा कहती हैं कि वह एक फैशन मॉडल बनना चाहती थीं लेकिन फिर उन्होंने अपने परिवार की परंपरा का पालन किया और वह जेल गार्ड का काम करने वाली परिवार की तीसरी पीढ़ी हैं. वह घुड़सवारी भी करती हैं (Beauty Contest Facing Critisism in Russia). इसके अलावा साइबेरिया की रहने वाली लेफ्टिनेंट डायना सैट इंटरनेट पोल में सबसे आगे चल रही हैं. वह बीते साल ही लॉ में ग्रेजुएशन करने के बाद इस सेवा से जुड़ी हैं. वरिष्ठ लेफ्टिनेंट इंदिरा फारसिना इंटरनेट पर तीसरे स्थान पर बनी हुई हैं.
शुक्रवार को मास्को में होगी फाइनल जजिंग
वरिष्ठ लेफ्टिनेंट वालेरिया एगोयान कुरगान क्षेत्र में महिला पैनल कलॉनी में तीन साल से काम करती हैं. अब प्रतियोगिता में जज किए जाने का अंतिम राउंड शुक्रवार रात मास्को (Moscow) में होगा. लोगों का कहना है कि इस तरह से महिलाओं को ऑब्जेक्टिफाई करना ठीक नहीं है. क्योंकि इससे लोगों को सीख मिलती है कि वह महिलाओं को एक वस्तु की तरह देखें ना कि जीती जागती इंसान की तरह. एक अन्य आलोचक का कहना है, 'एक वस्तु के तौर पर इनकी प्रशंसा की जा सकती है, इनके प्रति लालसा दिखाई जा सकती है लेकिन किसी अन्य तरह से इनके प्रति दिलचस्पी नहीं दिखाई जा सकती… ये दुखद है.'
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